अरावली की वादियों के बीच फुलाद रेलवे स्टेशन से कामलीघाट तक सर्पीलाकर रेलवे ट्रेक के 21 किलोमीटर का यह सफर आपको प्रकृति को नजदीक से निहारने का मौका देगा। जब यह ट्रेन मीटरगेज रेलवे ट्रेक पर हरिभरी पहाड़ियों के बीच छुक छुक की आवाज के साथ चलती से तो दिल बाग-बाग हो जाता है।
वनविभाग ने बनाया वनपथ
इन ट्रेनों के अलावा यहां पहुंचने के लिए वन विभाग की ओर से वन पथ भी तैयार किया गया है। इसके जरिए दुपहिया व चार पहिया वाहन लेकर भी यहां हजारों पर्यटक गोरमघाट पहुंच रहे हैं। जो अपना वाहन सीधा जोगमंडी झरने के पास भी ले जा सकते हैं।
वैली क्वीन हैरिटेज रेल
रेलवे द्वारा गोरमघाट की हसीन वादियों को निहारने के लिए गत वर्ष वैली क्वीन हैरिटेज रेलसेवा शुरू की है। घुमवादार सीटों के साथ इस ट्रेन को बुकिंग के आधार पर चलाया जा रहा है। जिसमें एक साथ 60 यात्री यात्रा कर सकते हैं।
पत्रिका अपील, न उठाएं जोखिम
मौज मस्ती के चलते गोरमघाट में स्थित बड़े बड़े पुलों व झरने के पास फोटो सहित रील बनाने के चक्कर में कई लोग अपनी जान जोखिम में डालते हैं। राजस्थान पत्रिका द्वारा गोरमघाट आने वाले पर्यटकों से अपील की जाती है कि इस तरह से जोखिम ना उठाएं। जिससे की किसी की जान को खतरा हो। गत दिनों पहले भी लापरवाही के चलते दंपति ने पुल के ऊपर से छलांग लगा दी थी। इससे वह गंभीर घायल हो गए थे। हालांकि अब वन विभाग के सिपाही इन पुलों पर सुरक्षा को तैनात हैं।