प्राप्त जानकारी के अनुसार, कनेरी मठ में पंचमहाभूत लोकोत्सव चल रहा है। इस बीच, इतनी बड़ी संख्या में गायों की मृत्यु से हड़कंप मच गया है। मठ में पशु चिकित्सकों की टीम पहुंच चुकी है और पीड़ित गायों का इलाज चल रहा है। आरोप लगाया जा रहा है कि मठ प्रशासन गायों की मौत की सही जानकारी नहीं दे रहा है और मामले में एक तरह की लीपापोती की जा रही है।
पंचमहाभूत लोकोत्सव में 54 गायों की मौत कोल्हापुर के कनेरी मठ में 20 से 26 फरवरी तक पंचमहाभूत लोकोत्सव का आयोजन किया जा रहा है। इसके लिए यहां देशभर से हजारों लोग पहुंच रहे हैं और यहां जानवरों की प्रदर्शनी भी लगाई गई है। मठ में एक शानदार गौशाला भी है। आरोप है कि इसी गौशाला में गायों को बासी खाना खिलाने से अब तक मठ की करीब 54 गायों की मौत हो चुकी है।
मठ के गौशाला में बड़ी संख्या में गायों की मौत होने के साथ ही 30 गायों की हालत गंभीर बनी हुई है। सभी बीमार गायों का गौशाला में उपचार शुरू कर दिया गया है। कोल्हापुर के पशु चिकित्सा अधिकारियों की टीम बीती रात ही मठ पहुंच चुकी है। हालांकि पशु चिकित्सा अधिकारी भी मृत गायों का आधिकारिक आंकड़ा देने को राजी नहीं हैं। मृत गायों के पोस्टमार्टम करवाने की बात कही जा रही है।
फूड पॉइजनिंग की आशंका
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, मठ में एक जगह हजारों रोटियों का ढेर देखा गया है। कहा जा रहा है कि यह बासी खाना बर्बाद न हो इसलिए इसे गायों को खिलाया जा रहा था। बीती रात कई गायों के शवों को दफनाने की भी जानकारी सामने आ रही है।
कोल्हापुर के कनेरी मठ में चल रहे इस पंचमहाभूत लोकोत्सव के लिए लाखों करोड़ों की धनराशि खर्च की जा रही है। कुछ दिनों पहले यहां मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस समेत कई नेता आये थे।
पंचमहाभूत लोकोत्सव के दौरान पर्यावरण के महत्व और जानवरों के महत्व को समझाने के लिए प्रदर्शनी लगाई गई है। यहां विभिन्न फूड स्टॉल भी लगाए गए हैं। हालांकि, उम्मीद से कम नागरिकों के प्रदर्शनी में आने की वजह से प्रतिदिन बड़ी मात्रा में भोजन बर्बाद हो रहा है। कहा जा रहा है कि इसमें से भाकरी व रोटियों को मवेशियों को खिलाया जा रहा है, जिससे गायों को फूड पॉइजनिंग होने की आशंका जताई जा रही है।