एम्स के निदेशक डॉ. रणदीप गुलेरिया का यह बयान ऐसे समय में आया है जब देश में हर दिन 23 हजार से ज्यादा कोरोना के नए मामले ( Coronavirus New Cases ) सामने आ रहे हैं। हालांकि मुंबई जैसे महानगरों में पहले की तुलना में अब नए संक्रमित मामले कम आ रहे हैं। बावजूद इसके महाराष्ट्र कोरोना मरीजों के मामले में देश में सबसे टॉप पर है।
पैंगोंग फिंगर-4 से पीछे हटीं दोनों देश की सेना, भारत का पीछे हटना चौंकाने वाली बात डॉ. गुलेरिया का कहना है कि अनलॉक वन और टू के दौरान लोगों ने सोशल डिस्टेंसिंग ( Social Distancing ) का पालन करना बिल्कुल कम कर दिया। साथ ही प्रशासन को कोरोना क्लस्टर्स ( Corona Clusters ) और कंटेनमेंट इलाकों ( Containment Zone ) पर लगातार नजर रखनी चाहिए। लॉकडाउन अगर लगाना ही है तो कम से कम 14 दिन तक लगाएं। ताकि कोरोना वायरस के बढ़ते संक्रमण पर लगाम लगाया जा सके।
केंद्र और राज्य सरकारों को उन्होंने सुझाव दिया कि शहरों में लॉकडाउन ( Lockdown ) लगाने की बजाय सरकार को कंटेनमेंट इलाकों में लॉकडाउन लगाना चाहिए। जहां पर कोरोना के मामले बढ़ते ही जा रहे हैं और कम होने का नाम नहीं ले रहे हैं।
चेस द टारगेट से कोरोना को नियंत्रित करने में मिली सफलता, WHO ने मुंबई के धारावी मॉडल की तारीफ की महाराष्ट्र में कोरोना मरीजों की संख्या करीब 2.5 लाख महाराष्ट्र ( Maharashtra ) में कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों को देखते हुए प्रदेश सरकार ने एक अहम निर्णय लिया है। पुणे, उससे सटे पिंपरी चिंचवाड़ समेत जिले के कई अन्य हिस्सों में 10 दिनों का लॉकडाउन लागू करने की तैयारी की है। यह लॉकडाउन 13 जुलाई से शुरू हो रहा है और 23 जुलाई को खत्म होगा।
इन राज्यों में बढ़े लॉकडाउन महाराष्ट्र, पश्चिम बंगाल, बिहार, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश और केरल में लॉकडाउन ( Lockdown ) बढ़ा दिया गया है। उद्धव ठाकरे सरकार ( Uddhav Government ) ने जहां पूरे महीने तक लॉकडाउन बढ़ाने का फैसला किया तो बाकी राज्यों में कोरोना से ज्यादा प्रभावित इलाकों में ही लॉकडाउन बढ़ाया गया। इस श्रेणी के राज्यों की लिस्ट आने वाले दिनों में बढ़ सकती है।