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क्या था मामला
जम्मू-कश्मीर पर राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री गुलाम नबी आजाद के विवादित बयान के बाद कांग्रेस पार्टी के ही एक अन्य बड़े नेता सैफुद्दीन सोज ने जम्मू-कश्मीर की आजादी का समर्थन कर विवाद को और तूल दे दिया है। सोज ने शुक्रवार को पत्रकारों से बात करते हुए कहा था कि कश्मीर के लोगों की पहली प्राथमिकता आजादी पाना है। जो भारत नहीं होने देना चाहता। सोज ने कहा कि वर्तमान स्थिति में कश्मीर की आजादी इससे जुड़े देशों के कारण संभव नहीं है, लेकिन यह जरूर है कि कश्मीर के लोग पाकिस्तान के साथ इसका विलय नहीं कराना चाहते हैं। सोज के इस बयान के बाद उनका जबर्दस्त विरोध भी शुरू हो गया है।
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मेरठ में भी सोज के इस बयान के बाद मुस्लिम हलकों में भारी विरोध दर्ज किया जा रहा है। मुस्लिम राष्ट्रीय मंच की शाहिन परवेज ने कहा कि कश्मीर के नौजवानों को देश के खिलाफ ये लोग इस्तेमाल कर रहे हैं। अब हम इनके मंसूबों को कामयाब नहीं होने देंगे। जब काश्मीर में बाढ़ आई थी तब यह लोग कहां थे। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने भारतीय सेना के द्वारा काश्मीर के लोगों की रक्षा की थी। क्योंकि कश्मीर भारत का हिस्सा है और रहेगा। यह भी देखें-दुल्हन को जेसीबी मशीन में बैठाकर घर लाया ये दूल्हा आज बुद्धिहीन नेता भारतीय सेना पर आरोप लगा रहे हैं, जिन पर धिक्कार है! इन लोगों पर देशद्रोह का मुकदमा चलना चाहिए। उन्होंने कहा कि कांग्रेस को अपने यहां से ऐसे गद्दार नेताओं को निकाल देना चाहिए। ऐसे गद्दारों की देश के भीतर कोई जगह नहीं है। उन्होंने कहा कि हैरानी की बात है कि कांग्रेस अपने नेता के विवादित बयान पर चुप है। वह कोई एक्शन नहीं ले रही है।