दरअसल, मेरठ मंडल में ब्लैक फंगस के कुल 312 मामले चिन्हित हुए। जिनमें से 103 मरीजों को उपचार के उपरांत डिस्चार्ज किया जा चुका है। 22 मरीजों की मृत्यु हो गई तथा वर्तमान में 191 मरीज उपचाराधीन हैं। मंडलायुक्त ने सभी सीएमओ से कहा कि भर्ती मरीजों को समुचित उपचार दिलाया जाए। मुख्य चिकित्सा अधिकारी अपने जनपद के सभी अस्पतालों में चिकित्सकों से बातचीत करते हुए मरीजों को दिए जा रहे उपचार और उनके वर्तमान स्वास्थ्य की स्थिति पर निगरानी रखेंगे। आवश्यकतानुसार औषधियों की उपलब्धता सुनिश्चित कराएंगे।
पिछले 5 दिनों में मेरठ मंडल में कोविड जांच का पॉजिटिविटी रेट 2.64 रहा है, जो पिछले डेढ़ माह में सबसे कम है। कोविड टेस्टिंग लगातार बढ़ी है। निरंतर प्रयासों के अच्छे परिणाम प्राप्त हुए हैं। मेरठ में धारा 188 के अंतर्गत कुल 6 मामले दर्ज किए गए। इसी प्रकार फेस मास्क ना पहनने पर 887 लोगों का चालान किया गया और सोशल डिस्टेंसिंग के 5 मामलों में कार्रवाई की गई। यह कार्रवाई मंडल के अन्य जनपदों यथा गाजियाबाद, गौतमबुधनगर और बुलंदशहर की अपेक्षा काफी कम है। एनफोर्समेंट की कार्यवाही गंभीरता से की जाए। वर्तमान में मेरठ मंडल में कोविड के एक्टिव केसों की संख्या 10,643 है। इनमें सर्वाधिक 2873 सक्रिय मामले जनपद मेरठ के हैं। इनमें 763 मरीज विभिन्न अस्पतालों में भर्ती हैं, जिनको समुचित उपचार दिलाया जाए।