भाकियू राष्ट्रीय अध्यक्ष नरेश टिकैत ने प्रेसवार्ता करते हुए कहा कि गन्ना पेराई सत्र शुरू हो चुका है, लेकिन आज तक भी केन्द्र और प्रदेश सरकार ने गन्ना मूल्य घोषित तक नहीं किया है। उन्होंने कहा कि हर साल महंगाई बढ़ रही है, लेकिन पिछले कई वर्षों से गन्ना रेट तक नहीं बढ़ाया जा रहा है। इससे ऐसा लगता है कि इस सरकार को किसानों की कोई चिंता नहीें है। उन्होंने कहा कि सरकार को बढ़ती महंगाई को देखते हुए गन्ना का समर्थन मूल्य 550 रुपये घोषित करना चाहिए और इससे कम पर किसान किसी भी कीमत पर अपना गन्ना नहीं देंगे।
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उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार लगातार किसानों का उत्पीड़न कर रही है, जिसे सहन नहीं किया जाएगा। किसानों को पंजाब में खेती के लिए निशुल्क बिजली दी जाती है, लेकिन उत्तर प्रदेश में किसानों से अधिक बिल वसूला जाता है। पता नहीं, क्यों सरकार उद्योगपतियों को लाभ देने के लिए किसानों का शोषण करने पर लगी है। आज सरकार की उपेक्षा के कारण युवाओं का ध्यान खेती से भटक चुका है और वह गांवों से पलायन तक कर रहे हैं। यदि सरकार को युुवाओं का पलायन रोकना है तो उनको खेती को बढ़ावा देना होगा, ताकि खेती को आगे बढ़ाया जा सकें।
टिकैत ने कहा कि केन्द्र सरकार ने किसान यात्रा के दबाव के चलते किसानों की मांगों को मानने का ऐलान किया था और इनमें से कुछ मांगे पूरी भी की गयी है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि जो मांगे बाकी है, उनको भी जल्द पूरा करने के लिए आंदोलन किया जाएगा। साथ ही राजनीति में आने की बात पर कहा कि वह भाकियू समाजसेवा संगठन है और उनका राजनीति से कोई लेनादेना नहीं है। वह किसी भी पार्टी से चुनाव मैदान में नहीं आएंगे और परिवार का कोई भी सदस्य चुनाव नहीं लड़ेगा। वह बिना राजनीति के ही किसानों की सेवा करना चाहते हैं। इस मौके पर जिलाध्यक्ष प्रताप गुर्जर, इंद्रपाल सिंह, योगेश प्रधान आदि मौजूद रहे।