सुबह 6 बजे हुई वारदात इस मामले में एडीजी जेल चंद्रप्रकाश का कहना है कि सुबह 6 बजे जेल में झगड़े के दौरान मुन्ना बजरंगी को गोली मारी गई है। उसे सुनील राठी ने गोली मारी है। उनका कहना है कि वारदात के बाद हथियार को गटर में फेंक दिया गया था। इस मामले में उन्होंने जेल की सुरक्षा में गंभीर चूक को भी स्वीकारा। इस मामले में जेलर उदय प्रताप सिंह, डिप्टी जेलर शिवाजी यादव, हेड वार्डन अरजिन्दर सिंह और वार्डन माधव कुमार काे सस्पेंड कर दिया गया है। इस मामले की ज्यूडिशियल इंक्वायरी होगी। पोस्टमार्टम भी पैनल से कराया जाएगा।
सुनील राठी का नाम आया सामने वहीं, इस मामले में मुन्ना बजरंगी के वकील ने कहा कि मुन्ना बजरंगी की सुनील राठी ने गोली मारकर हत्या कर दी। उनके बीच में कोई विवाद नहीं था। आरोप है कि किसी के कहने पर यह हत्या की गई है। बागपत के एक मुकदमे में मुन्ना बजरंगी को यहां लाया गया था। लोकेश दीक्षित की शिकायत में मुन्ना बजरंगी का नाम नहीं था। पकड़े गए अभियुक्तों ने भी मुन्ना बजरंगी का नाम नहीं लिया था। 2005 में हुए विधायक कृष्णानंद राय की हत्या के मामले में वह जेल में बंद था।
वकील ने लगाए आरोप उनका कहना है कि जेल में हथियार पहुंचने में जेल के अधिकारियों का हाथ रहा है। जैमर और मोबाइल नंबर अंदर न ले जाने का दावा करने वाले जेल प्रशासन का भी हथियार अंदर पहुंचने में हाथ रहा है। अभी यह नहीं पता कि हथियार कौन साथ था लेकिन करीब दस गोलियां मारी गई हैं। इस हत्याकांड में किसी और का हाथ है।