बता दें कि आईजी आगरा रेंज ए. सतीश गणेश द्वारा डॉक्टर निर्विकल्प अपहरण मामले में एक जांच कमेटी बैठाई गई थी जिसमें एसएसपी से लेकर एसएचओ तक की भूमिका संदिग्ध बताई गई। उन्होंने अपनी रिपोर्ट में शासन को यह लिख कर भेजा है कि इस मामले में जिला स्तर पर कोई भी कार्रवाई नहीं की गई। थाना हाईवे के एसएचओ जगदंबा सिंह को निलंबित कर दिया गया है जबकि संबंधित सर्कल के क्षेत्र अधिकारी को एसएसपी कार्यालय से संबंध कर दिया गया है।
अपहृत डॉ निर्विकल्प की फिरौती की मोटी रकम का बंदरबांट कर लिया गया। इस मामले में एसएसपी शलभ माथुर के खिलाफ भी कार्रवाई तय है। सूत्रों के मुताबिक शलभ माथुर को मथुरा से हटाने की तैयारी हो चुकी है। वहीं डॉक्टर का अपहरण करने वाले चारों बदमाशों पर 50-50 हजार रुपए का इनाम भी आईजी आगरा रेंज ए सतीश गणेश ने घोषित कर दिया है। बता दें कि यह मामला दिसंबर 2019 का है। डॉक्टर का अपहरण हो गया था और अपहरणकर्ताओं ने डॉक्टर के परिजनों से एक करोड़ की फिरौती मांगी थी। परिजनों द्वारा एक करोड़ रुपए अपहरणकर्ताओं को दे भी दिए गए और डॉक्टर को अपहरणकर्ताओं ने मुक्त कर दिया।
अपहरण कर्ताओं के द्वारा डॉक्टर के पास बचे हुए पैसों के लिए जब फोन आया तो अपहरण कर्ताओं ने डॉक्टर को धमकी दी कि वह पुलिस को सूचना न दे। डॉक्टर ने पुलिस को सूचना दी और पुलिस ने कार्रवाई करते हुए एक अपहरणकर्ता को अपनी हिरासत में भी लिया था। आरोप है कि पुलिस ने गिरफ्तार किए अपहरणकर्ता को पैसे लेकर छोड़ दिया। इस पूरे मामले को लेकर एडीजी कानून-व्यवस्था के निर्देशन में आगरा के आईजी रेंज को जांच दी गई और उन्होंने 22 बिंदुओं पर एसएसपी से जवाब मांगा था। आईजी आगरा ए. सतीश गणेश को एसएसपी का जवाब संतोषजनक नहीं मिला।