जारी आंकड़ो के मुताबिक लखनऊ में सबसे ज्यादा 21-40 आयु वर्ग के लोग कोरोना से संक्रमित हुए हैं। करीब 47 प्रतिशत (23,693) मरीज इस वर्ग के हैं। वहीं 41-60 आयु वर्ग के 31 प्रतिशत (15,625) मरीज कोरोना की चपेट में आए हैं। इनमें ज्यादातर लोग काम के सिलसिले में घर से बाहर निकले हैं। लापरवाही भी इनकी ओर से ही बरती गई है। वहीं 10 से कम उम्र के बच्चों की बात करें तो केवल 4% (1,899) ही संक्रमित हुए। 60 साल से ज्यादा उम्र वाले केवल 10% (5,029) ही कोरोना ले लड़ते दिखे।
राजधानी में पहला कोरोना मामला 11 मार्च को आया था। कनाडा से लौटी गोमती नगर निवासी महिला डॉक्टर में केजीएमयू में वायरस की पुष्टि हुई। इसके बाद शहर में मार्च में कुल नौ मरीज थे। वहीं अप्रैल में 197 लोगों में कोरोना वायरस पाया गया। मई में स्थित कुछ सुधरी और 166 कोरोना संक्रमित मरीज मिले। जून में चार गुना से ज्यादा मामले सामने आए। संख्या 751 तक जा पहुंची। वहीं जुलाई में कोरोना का आंकड़ा 7121 पहुंच गया। अगस्त तक 20,353 मरीज कोरोना की चपेट में आ चुके थे। वहीं सितंबर में कुल आंकड़ा 50 हजार पार कर गया।
लखनऊ जिलाधिकारी अभिषेक प्रकाश ने शनिवार को मंडलायुक्त रंजन कुमार के साथ विवेकानंद अस्पताल का दौरा किया व अस्पताल प्रबंधन से कोविड संबंधी व्यवस्थाओं का जायज़ा लिया। साथ ही उन वार्डों का निरीक्षण भी किया जहां मरीजों का इलाज चल रहा रहा है। मरीजों से बात कर उन्हें दी जा रही सुविधाओं के बारे में भी जानकारी ली गई। डीएम ने अस्पताल प्रबंधन को निर्देश देते हुए कहा कि सरकार द्वारा कोविड 19 मरीजों के इलाज के लिए पूरी व्यवस्था की गई है। ऐसे में किसी तरह की दिक्कत सामने नही आनी चाहिए। साथ ही सभी अस्पतालों को प्रतिदिन आने वाले मरीजों को पूरी डिटेल जिला प्रशासन को देने के निर्देश दिए गए हैं।