स्वच्छता सर्वेक्षण को लेकर चर्चा स्वायत्त शासन विभाग निदेशक ने थर्मल स्थित कॉन्फ्रेंस हॉल में संभाग के कोटा नगर निगम व नगर पालिकाओं के आयुक्त एवं अधिशाषी अभियन्ताओं की स्वच्छता सर्वेक्षण को लेकर चर्चा की। उन्होंने कहा कि स्थानीय नागरिकों को स्वच्छता के प्रति जागरूक करने की आवश्यकता है। इस अवसर पर परियोजना निदेशक एसआर मीणा, मुख्य अभियन्ता भूपेन्द्र माथुर, निगम की उपायुक्त श्वेता फ गेडिय़ा, स्थानीय निकाय विभाग की क्षेत्रीय उप निदेशक भावना राघव गुर्जर सहित नगर निगम के अधीक्षण अभियन्ता प्रेमशंकर सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी उपस्थित रहे।
एप डाउनलोड करवाएं उन्होंने कहा कि स्वच्छता एप को अधिक से अधिक डाउनलोड करने के लिए लोगों को प्रेरित करें। सर्वेक्षण के तहत जो बिन्दु हैं उनकी क्रियान्विति के लिए सकारात्मक प्रयास करने होंगे। डोर-टू-डोर कचरा संग्रहण कर गीले एवं सूखे को पृथक-पृथक कर उनकी कम्पोस्टिंग करें। जिन क्षेत्रों में कम्पोस्टिंग की अभी तक शुरुआत नहीं हुई है तो ऐसे क्षेत्रों में शीघ्र शुरुआत करवाएं, ताकि नागरिकों में कचरे के सेग्रीगेशन के प्रति जागरूकता आए। उन्होंने कहा कि स्वच्छता सर्वेक्षण से जुड़े बिन्दुओं की पालना के निर्देश दिए।
5 शहर ओडीएफ घोषित, कन्ट्रोल रूम बनें निदेशक ने बैठक में प्राप्त प्रगति रिपोर्ट के आधार पर 5 शहरों को ओडीएफ घोषित किया, इनमें बूंदी, अकलेरा, इटावा, मांगरोल एवं छबडा शामिल हैं।उन्होंने कहा कि स्थानीय नागरिकों की सफाई को लेकर आने वाली समस्याओं को प्राथमिकता से निस्तारित करें। इसके लिए जिन नगर पालिकाओं में कन्ट्रोल रूम की स्थापना नहीं की गई है, वहां स्थापना करें और 2 कार्मिक लगाएं।