Kota Coaching Student: बॉलीवुड फिल्म ‘थ्री इडियट’ के इस डायलॉग में बहुत गहराई है कि दोस्त परीक्षा में फेल हो जाए तो दुख होता है…और दोस्त टॉप कर जाए तो ‘बहुत दुख’ होता है…। कड़ी प्रतिस्पर्धा के दौर में एक दोस्त, जो कि स्टूडेंट भी है, कि मानसिकता को समझने के लिए इससे अच्छा उदाहरण नहीं मिल सकता।
कोटा•Aug 28, 2023 / 12:31 pm•
Akshita Deora
कोटा. Kota Coaching Student: बॉलीवुड फिल्म ‘थ्री इडियट’ के इस डायलॉग में बहुत गहराई है कि दोस्त परीक्षा में फेल हो जाए तो दुख होता है…और दोस्त टॉप कर जाए तो ‘बहुत दुख’ होता है…। कड़ी प्रतिस्पर्धा के दौर में एक दोस्त, जो कि स्टूडेंट भी है, कि मानसिकता को समझने के लिए इससे अच्छा उदाहरण नहीं मिल सकता। सफल होने के सपनों के साथ कोटा आए विद्यार्थियों बीच दोस्ती के साथ कड़ी प्रतिस्पर्धा भी होती है।
अपने माता-पिता, सगे-संबंधियों को छोड़कर छोटी उम्र में जीवन का मुकाम हासिल करने कोचिंग सिटी कोटा आए बच्चे अपने मन का बोझ हल्का करने के लिए दोस्तों से बात तो करते हैं, लेकिन उनके बीच प्रतिस्पर्धा बनी रहती है। कई बार कई ऐसी बातें होती हैं, जिन्हें वह अपने अभिभावकों से शेयर नहीं कर पाते, ऐसे में दोस्त ही काम आते हैं। लेकिन, बच्चों की दोस्ती पर प्रतिस्पर्धा हावी होती जा रही है। इसका असर बच्चों की मानसिकता पर पड़ रहा है। विशेषज्ञ मानते हैं कि बच्चों में पनपते तनाव को कम करने के लिए प्रतिस्पर्धा के साथ सामाजिकता से जोड़ना होगा।
यह बोले कोचिंग स्टूडेंट
बिहार निवासी प्रिंस ने बताया कि वे कोटा में रहकर आईआईटी की तैयारी कर रहा है। सुबह 7 बजे से दोपहर 1 बजे तक कोचिंग में रहता है। उसका यहां कोई दोस्त नहीं है। उत्तरप्रदेश निवासी आर्य ने बताया कि वे आईआईटी की तैयारी कर रहा है। दोपहर 2 बजे से रात 8 बजे तक कोचिंग में पढ़ाई करता है। यदि कोई डाउट हो तो उसे क्लियर करते हैं। इससे कोचिंग में ही समय बीत जाता है। कोचिंग व बाहर कोई दोस्त नहीं है, जिससे वे अपने मन की बात शेयर कर सके।
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