Special Story:
सांप का जहर ‘मौत’ नहीं ‘जिंदगी’ भी देगा, कैसे पढि़ए खास खबर… गजेन्द्र प्रजापति ने बताया कि उनका भांजा नयागांव निवासी यतीश (7) व भांजी दिव्यांशी (8) घर पर सो रहे थे। रविवार सुबह दूध पीने के लिए उन्हें उठाया तो उनके पैर दर्द, जी घबराने लगा, पसीना आने लगा। फिर दोनों अचेत हो गए। परिजन उन्हें सुबह 8 बजे जेके लोन अस्पताल लेकर पहुंचे। यहां आधे घंटे बाद ही उपचार के दौरान यतीश ने दम तोड़ दिया। उसके बाद दिव्यांशी के मुंह से लगातार झाग आने लगे। पलकें बंद होने लगी। परिजन उसे लेकर तलवंडी स्थित निजी अस्पताल में पहुंचे। यहां उसका इलाज शुरू किया। चिकित्सक ने बताया कि सर्पदंश से दिव्यांशी डीप कोमा में चली गई।
BIG News:
हाड़ौती के सबसे बड़े जेके लोन अस्पताल में रोजाना 30 से 40 नवजात बच्चों की जान खतरे में… घर का चिराग बुझा सर्पदंश से नयागांव निवासी ओमप्रकाश प्रजापति के घर का चिराग बुझ गया। यतीश उनका इकलौता बेटा था। उनकी बड़ी पुत्री दिव्यांशी है। वह निजी अस्पताल में जीवन के लिए मौत से संघर्ष कर रही है। यतीश व दिव्यांशी पहले निजी स्कूल में पढ़ते थे। इसी साल दोनों को नयागांव के सरकारी स्कूलों में दाखिला करवाया था। यतीश दूसरी कक्षा का छात्र था, जबकि दिव्यांशी चौथी कक्षा की छात्रा है।