गैंग के साथ संबंध रहने और डीजल चोरी में अपरोक्ष तौर पर शामिल होने के संदेह पर पुलिस अधीक्षक ने 7 सिपाहियों को निलंबित कर दिया है। इसमें दो सिपाही पुलिस की साइबर सेल में काम करते हैं। प्रारंभिक जांच में पुलिस को पता चला है कि साइबर सेल से जुड़े सिपाही मोबाइल फोन के जरिए चोरों के संपर्क में थे।
CG News: खदान से डीजल चोरी का बड़ा खुलासा
खदानों में हो रही डीजल चोरी को लेकर पुलिस अधीक्षक सिद्धार्थ तिवारी ने बड़ा खुलासा किया है। एक प्रेसवार्ता के दौरान तिवारी ने बताया कि हफ्ते भर पहले 22 दिसंबर की रात एसईसीएल की गेवरा खदान में घुसकर चोरों ने डीजल चोरी को अंजाम दिया था। आरोपी सुरक्षा बलों को चकमा देकर मौके से फरार हो गए थे। लेकिन चोर जिस बोलेरो में सवार थे उसका नंबर सीजी-12बीएल-6960 के बारे में जानकारी मिली थी।
पुलिस ने इस जानकारी के आधार पर छानबीन को आगे बढ़ाया तब पता चला कि एसईसीएल की कोयला खदानों में डीजल की चोरी करने वाला गिरोह सक्रिय है।
आईपीएस विमल पाठक करेंगे चोरी में सिपाहियों की भूमिका की जांच
पुलिस ने गिरोह के संबंध में जानकारी जुटाना शुरू किया और एक-एक कर 7 चोरों को पकड़ लिया। इसमें बगडबरीपारा जिला जांजगीर-चांपा बलौदा निवासी पुरुषोत्तम यादव 34 वर्ष, विजय नगर दीपका निवासी देवचरण चौहान 19 वर्ष, बाराद्वार सक्ती निवासी राजेंद्र साहू उर्फ कुनाल, ज्योति नगर दीपका में रहने वाला शेख उर्फ बिट्टू 28 वर्ष, बांकीमोंगरा बलगी शांतिनगर निवासी अर्जुन सिंह 18 वर्ष, ग्राम खमदेईपारा खिसोरा निवासी देवानंद खुंटे 19 वर्ष और खोखरा ठाकुरदेव जांजगीर-चांपा में रहने वाला रवि बरेठ 25 वर्ष शामिल हैं। आरोपियों को
पुलिस ने गिरफ्तार कर कड़ाई से पूछताछ किया। इसके बाद मामले का खुलासा हुआ। इनकी निशानदेही पर पुलिस ने अलग-अलग जेरीकेन में भरकर रखे गए 2345 लीटर डीजल को जब्त किया है। पुलिस ने बताया कि इस डीजल को अलग-अलग स्थान पर जेरीकेन में भरकर छिपाया गया था। डीजल को 67 जेरीकेन में रखा गया था। पुलिस ने आरोपियों को गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया। यहां से रिमांड पर जेल भेज दिया गया।
एसईसीएल के सेक्यूरिटी पास का खदान के भीतर आने-जाने के लिए हो रहा था इस्तेमाल
पुलिस को प्रारंभिक जांच में पता चला है कि चोरों का गिरोह खदान के भीतर आने-जाने के लिए एसईसीएल के सेक्यूरिटी पास का इस्तेमाल कर रहा था। हालांकि यह अभी स्पष्ट नहीं हुआ है कि यह सेक्यूरिटी पास किसके लिए और किसके निर्देश पर जारी किया गया था। लेकिन इस घटना ने एसईसीएल के कर्मचारियों की भूमिका को भी संदिग्ध बना दिया है। पुलिस का कहना है कि इस मामले की जांच की जा रही है और सबूत मिलने पर उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। पुलिस ने डीजल चोरों से बोलेरो सीजी-12बीएल-6960 के अलावा सीजी-11बीके-6745 को भी जब्त किया है। चोरों का गिरोह इन्हीं दोनों गाड़ियों का इस्तेमाल
डीजल चोरी में कर रहा था। घटना में शामिल कई अन्य आरोपी फरार हैं। पुलिस इनकी पतासाजी कर रही है।
फोन ने खोले राज, सात पुलिस कर्मी किए गए निलंबित
पुलिस ने चोरी के आरोप में पकड़े गए सातों
आरोपियों से कड़ी पूछताछ की। पूछताछ के दौरान पुलिस को कई चौकाने वाली जानकारी मिली। पता चला कि चोरों के साथ कई सिपाहियों के संबंध भी थे। सूत्रों ने बताया कि इसकी पुष्टि चोरों के मोबाइल फोन के जांच में हुई है। यह मामला सामने आने के बाद पुलिस अधीक्षक सिद्धार्थ तिवारी ने सात पुलिस कर्मियों को निलंबित कर दिया है।
इसमें साइबर सेल की कोरबा शाखा में कार्यरत प्रधान आरक्षक राजेश कंवर, सिपाही रितेश शर्मा, हरदीबाजार में तैनात सिपाही कमल कैवर्त, तिलक पटेल, कुसमुंडा थाना में तैनात धीरज पटेल और त्रिलोचन सागर शामिल हैं। आचरण संदिग्ध पाए जाने पर इन्हें निलंबित कर दिया गया है। जांच का दायित्व आईपीएस और दर्री के नगर पुलिस अधीक्षक विमल पाठक को सौंपा गया है।