आपको बता दें कि, शव वाहन ना मिलने पर बेटों ने ट्रेन की चपेट में आए पिता के शव को कपड़े की झोली में डालकर 2 किलोमीटर पैदल चलकर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचाया। दरअसल, मेघनगर रेलवे स्टेशन पर साबरमती एक्सप्रेस की चपेट में आ जाने से मेघनगर निवासी पुरुषोत्तम नागर की मौत हो गई थी। घटना की जानकारी लगते ही परिजन मौके पर पहुंचे और शव वाहन के लिए फोन किया। लेकिन, जब 2 घंटे बाद भी शव वाहन नहीं पहुंचा तो मृतक के बेटे और अन्य परिजन शव को कपड़े की झोली में डालकर पोस्टमार्टम के लिए मजबूरन पैदल ही अस्पताल लेकर पहुंचे।
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सोशल मीडिया पर वीडियो तेजी से वायरल
किसी ने इस घटनाक्रम का वीडियो बना कर सोशल मीडिया पर डाल दिया, जो अब तेजी से वायरल हो रहा है। सोशल मीडिया पर लोग इसे सिस्टम की लाचारी की शर्मनाक तस्वीर बता रहे हैं। बता दें कि, वर्तमान में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ने शव वाहन का संचालन मेघनगर रोटरी क्लब द्वारा किया जा रहा है। मध्य प्रदेश में इस तरह के पहले भी कई मामले सामने आ चुके हैं। फिलहाल, अब देखना होगा कि इस मामले में क्या कार्रवाई होती है।