झाबुआ और अलीराजपुर जिले में इको पर्यटन बोर्ड ने टेंट सिटी बनाई है, जहां कई पर्यटकों ने टेंट सिटी बुक कराई है। बोर्ड की सीईओ समीता राजौरा के मुताबिक इको टूरिज्म बोर्ड की टीम सैलानियों से टेंट सिटी का भी आनंद लेने की अपील कर रही हैं।
टीम के सदस्यों ने बताया कि सैलानियों के पास रुकने के लिए इससे सस्ता और बेहतर कोई दूसरा विलक्प नहीं है। खासकर मेले में यह व्यवस्था की गई है। मध्यप्रदेश के आदिवासी बहुल अलीराजपुर और झाबुआ क्षेत्र में 18 से 24 मार्च तक दोनों जिलों के छह स्थानों पर आदिवासी संस्कृति से जुड़ा विश्व प्रसिद्ध मेले का आयोजन हो रहा है। भगोरिया मेले से ही लगे स्थान पर टेंट सिटी बनाई गई है। इसकी जिम्मेदारी भोपाल के ही कटोतिया समिति की दी गई है। टेट सिटी में सैलानियों के लिए आरामदायक और आधुनिक सुविधाएं भी दी गई हैं। एक टेंट का किराया 1450 रुपए है। टेंट सिटी में रुके सभी सैलानियों को झाबुआ और अलीराजपुर से जुड़ी संस्कृति और पर्यटन स्थलों का भ्रमण भी कराया जा रहा है।
पर्यटन इस क्षेत्र में आने का परंपरागत आदिवासी व्यंजनों का भी मजा ले रहे हैं। इको पर्यटन बोर्ड, सैलानियों के लिए स्थानीय व्यंजनों का भी इंतजाम कर रही है। अलीराजपुर का लोकप्रिय व्यंजन चूरमा बाटी, दाल पानिया, और कड़कनाथ का भी इंतजाम किया गया है। बोर्ड के अधिकारियों के मुताबिक पर्यटक व्यंजनों का भी आनंद ले रहे हैं। स्थानीय राग संस्कृति से जोड़ने के लिए भी आदिवासी संगीत की भी व्यवस्था की गई है।