लबालब तालाब व पोकरण रिण
अगस्त माह के पहले सप्ताह में कस्बे में बारिश दौर शुरू हो गया था, जो करीब 15 दिनों तक रुक-रुककर जारी रहा। इस दौरान 482 एमएम से अधिक बारिश हुई। जिसके कारण कस्बे के गली मोहल्लों व विभिन्न कॉलोनियों में खाली पड़े भूखंडों में पानी जमा हो गया। साथ ही कस्बे के सभी तालाब लबालब हो गए। कस्बे के तालाबों से ओवरफ्लो होने के साथ उत्तर की तरफ पहाड़ी पर बारिश होने पर पानी पुराने नदी-नालों से होते हुए जोधपुर रोड के उत्तर दिशा में स्थित रिण क्षेत्र में जाता है। यह रिण विशाल भू-भाग में फैला हुआ है, जो इस माह हुई बारिश में लबालब भर गया है।अस्पताल पहुंच रहे मरीज
डेंगू के संभावित मरीज
अस्पताल में प्रतिदिन 700 से 800 मरीज अपने उपचार के लिए आते है। जिनमें से अधिकांश मरीज मौसमी बीमारियों के होते है। हालांकि अभी तक एक भी डेंगू का पॉजीटिव मरीज नहीं मिला है, लेकिन मरीजों की प्लेटलेट्स गिरने से उन्हें डेंगू के संभावित मरीजों में माना जा रहा है। अस्पताल सूत्रों के अनुसार प्रतिदिन चार से पांच मरीजों की प्लेटलेट्स कम मिल रही है। जिसके चलते उन्हें डेंगू के संभावित मरीज मानकर उपचार किया जा रहा है।मलेरिया का डर
कस्बे व आसपास क्षेत्र में अच्छी बारिश के कारण पानी जमा पड़ा है। यह पानी कई महिनों तक नहीं सूखेगा। ऐसे में साफ पानी में धीरे-धीरे गंदगी बढऩे लगेगी। साथ ही मलेरिया के मच्छरों की संख्या भी बढ़ जाएगी। जिसके कारण आगामी महिनों में मलेरिया के रोगियों के बढऩे की आशंका है। हालांकि चिकित्सा विभाग की ओर से कुछ दिन पूर्व सर्वे करवाने के साथ जमा पानी में टेमिफोस व एंटी लार्वा का छिडक़ाव किया गया था, लेकिन जहां भी पानी जमा है, वहां मात्रा अधिक है। ऐसे में मलेरिया व अन्य मौसमी बीमारियों के फैलने का खतरा बढ़ता जा रहा है।फैक्ट फाइल:-
- 482 एमएम हो चुकी अगस्त माह में बारिश
- 700 से अधिक मरीज पहुंच रहे प्रतिदिन अस्पताल
- 4 से अधिक मरीजों की मिल रही प्लेटलेट्स कम