2,000 किलो दाल के बनेंगे बड़े
मंदिर प्रबंध समिति के अध्यक्ष नारायण लाल अग्रवाल और उपाध्यक्ष संजय पतंगवाला ने बताया कि इस महोत्सव में करीब 40 भट्टियों पर 60 से अधिक हलवाई प्रसादी तैयार करेंगे। 30 दिसम्बर को सुबह 11 बजे से प्रसादी बनाने का कार्य शुरू होगा। लगभग 2,000 किलो दाल, 5,000 किलो आलू, 5,000 किलो आटा, 1,100 किलो चीनी, 1,100 किलो सूजी, 150 पीपे तेल और 40 पीपे घी का उपयोग किया जाएगा। महोत्सव की शुरुआत 31 दिसम्बर को दोपहर 3 बजे से होगी, जब पंगत प्रसादी का आयोजन शुरू होगा, जो रात्रि 10 बजे तक चलेगा। सबसे पहले प्रथम पूज्य गणेशजी और आत्माराम जलेश्वर महादेव को पौष बड़ा प्रसादी का भोग अर्पित किया जाएगा, इसके बाद विभिन्न मंदिरों के संत-महंत पंगत में बैठकर प्रसादी ग्रहण करेंगे।
लगभग 1 लाख श्रद्धालु, जिनमें आगरा रोड व दिल्ली रोड तथा परकोटे के आसपास के शहरवासी पंगत में बैठकर प्रसादी का आनंद लेंगे। इस खास अवसर पर समाजिक, धार्मिक और राजनीतिक प्रतिनिधि भी प्रसादी ग्रहण करेंगे।
इससे पहले गुरुवार को मंदिर प्रबंध समिति ने महोत्सव की सफलता के लिए बंगाली बाबा गणेश जी को प्रथम निमंत्रण दिया। इस अवसर पर समिति के महामंत्रीगजेन्द्र लूनीवाल और पुजारी सीताराम शर्मा सहित अन्य कार्यकर्ता भी मौजूद रहे।