इस माह में 17 दिन त्योहार मनाए जाएंगे। त्योहारों की लड़ी शरद पूर्णिमा से शुरू होकर कार्तिक पूर्णिमा पर सम्पन्न होगी। साथ ही दीपदान का सबसे बड़ा त्योहार दीपावली भी इसी दौरान मनाया जाएगा। 5 अक्टूबर को शरद पूर्णिमा से कार्तिक स्नान प्रारम्भ हो जाएगा। महिलाएं ब्रह्ममुहूर्त में उठकर स्नान व दीपदान करेंगी। तुलसी की परिक्रमा व भजन-कीर्तन करेंगी। साथ ही दिन में एक बार तारों की छांव में भोजन करेंगी। कार्तिक मास में दीपदान का विशेष महत्व है। इस दौरान लोग घर की छत पर आकाशीय दीपक जलाते हैं।
यह भी पढें : ट्रेंड/ एलईडी में इंटरनेट ब्राउजिंग बनी पहली पसंद शरद पूर्णिमा पर लगाया जाएगा खीर का भोग शरद पूर्णिमा पर गुरूवार को मंदिरों व घरों में भगवान को खीर का भोग लगाया जाएगा। साथ ही ठाकुरजी को धवल पोशाक धारण करवाई जाएगी। मान्यता है कि इस दिन चंद्रमा १६ कलायुक्त होता है। साथ ही पृथ्वी के सबसे निकट होता है। इसलिए दमा, पित्त आदि रोगों को दूर करने के लिए चंद्रमा की चांदनी युक्त खीर खाई जाती है। शहर में जगह-जगह औषधि युक्त खीर का वितरण भी किया जाएगा।
यह भी पढें : जेडीए जमीन लेने पर अड़ा, सरकार ने नहीं ली सुध, भूमि पुत्रों ने खुद को जमीन में गाड़ा किस दिन कौन सा व्रत त्योहारशरद पूर्णिमा : 5 अक्टूबर
करवा चौथ : 8 अक्टूबर
अहोई अष्टमी : 12 अक्टूबर
रमा एकादशी : 15 अक्टूबर
गोवत्स द्वादशी : 16 अक्टूबर
धनतेरस : 17 अक्टूबर
रूप चतुर्दशी : 18 अक्टूबर
दीपावली : 19 अक्टूबर
गोवर्धन पूजा : 20 अक्टूबर
भाईदूज : 21 अक्टूबर
सौभाग्य पंचमी : 25 अक्टूबर
डाला छठ : 24-26 अक्टूबर
गोपाष्टमी : 28 अक्टूबर
आंवला नवमी : 29 अक्टूबर
देव प्रबोधिनी एकादशी : 31 अक्टूबर
बैकुंठ चतुर्दशी : 3 नंवबर
कार्तिक पूर्णिमा, देव दीपावली : 4 नवंबर