जिले में रेडीमेड गारमेंट के बाद मिष्ठान और नमकीन दूसरा क्लस्टर होगा। इसकी स्थापना केन्द्र सरकार की एमएसई-सीडीपी योजना के अंतर्गत किया जा रहा है। इस प्रोजेक्ट के अंतर्गत कॉमन फैसिलिटी सेंटर के लिए रिछाई में सवा दो एकड़ जमीन आवंटित हो चुकी है। इसका हस्तांतरण भी मिष्ठान एवं नमकीन प्राइवेट लिमिटेड को हो चुका है। अब इस औद्योगिक भूमि पर बिल्डिंग तैयार होना है। जब बिल्डिंग बन जाएगी तब केंद्र सरकार की तरफ से फंड उपलब्ध कराया जाएगा। इसके तहत क्लस्टर को मशीनरी मिलेंगी।
आधुनिक मशीनों पर तैयार कच्चा माल
कॉमन फैसिलिटी सेंटर में आधुनिक मशीनों पर मिठाइयों के लिए कच्चा माल तैयार किया जाएगा। इसी प्रकार नमकीन बनाने के लिए भी मसाले बनाए जाएंगे। अभी मूल चुनौती कॉमन फैसिलिटी सेंटर (सीएफसी) के लिए जमीन की थी। अब वह मिल गई तो बिल्डिंग निर्माण के लिए फंड का संकट खड़ा हो गया है। 18 करोड़ रुपए के प्रोजेक्ट में 11 करोड़ रुपए केंद्र सरकार प्रदान करेगी। राज्य शासन ने अपने अंशदान के रूप में जमीन आवंटित कर दी है। अब तीन करोड़ रुपए की राशि करीब 160 सदस्यों को जुटाना है।
इकाइयों के लिए मांगी जमीन
सीएफसी के बाद कारोबारी रिछाई में इकाइयों के लिए भी जमीन की मांग कर रहे हैं। उनका कहना है कि सीएफसी अकेले से काम नहीं चलेगा। कच्चा माल मिलेगा तो मिठाई और नमकीन वहीं तैयार हो जाएं। इसके लिए वहां इकाइयां स्थापित करनी पडे़ंगी। सदस्यों ने इसका प्रस्ताव दिया है। उद्योग संवर्द्धन समिति की बैठक मे भी यह विषय उठाया जाता रहा है। इस बीच हाल में हुई समिति की बैठक में भी प्रोजेक्ट की धीमी गति पर कलेक्टर ने नाराजगी जताई थी।
प्रोजेक्ट के लिए दिल्ली से फाइनल अथॉरिटी लैटर आ जाए तो फंड जुटाने का काम तेज कर दिया जाएगा। सदस्यों ने शासन से सीएफसी के साथ इकाइयों के लिए भी भूमि मांगी है, यह मिल जाती है तो बेहतर होगा।
कैलाश साहू, संचालक, मिष्ठान एवं नमकीन क्लस्टर प्रालि.