हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को जारी किया नोटिस
विधायक मसूद ने जनहित याचिका दायर कर कहा कि 8 नवम्बर 2021 को हमीदिया अस्पताल भोपाल के बच्चा व नवजात शिशु वार्ड में अफसरों की लापरवाही से आग लगी। सरकारी आंकड़ों के अनुसार इस दुर्घटना में सात शिशु घायल हुए। 10 की मौत हो गई। अधिवक्ता रवि शंकर यादव ने कोर्ट को बताया कि वस्तुस्थिति कुछ और थी। कम से कम 40 बच्चे उस वक्तहमीदिया अस्पताल के बच्चा, नवजात शिशु विभाग में भर्ती थे। इनमे से अधिकतर की घायल होने से कुछ दिनों के अंतराल में मृत्यु हो गई। लेकिन, सरकार ने घटना के आरोपियों पर एफआइआर तक नहीं दर्ज कराई। बच्चों के परिजन की आर्थिक मदद नहीं की गई।
याचिकाकर्ता ने विधानसभा में बतौर विधायक सवाल लगाया, तो उन्हें स्वास्थ्य मंत्री की ओर से बताया गया कि उक्त दुर्घटना के लिए केवल पांच बच्चों के परिजन की आर्थिक मदद की गई। तर्क दिया गया कि उक्तजवाब अंतर्विरोधी है। सरकार की ओर से अलग-अलग आंकड़े बताए जा रहे हैं, जो दुर्घटना को लापरवाही का परिणाम होने की ओर इंगित कर रहे हैं। याचिका में आग्रह किया गया कि इसके लिए जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ एफआइआर दर्ज की जाए। प्रारम्भिक सुनवाई के बाद कोर्ट ने अनावेदकों को नोटिस जारी करने के निर्देश दिए।