विश्व आदिवासी दिवस (International tribal day) को लेकर एक फिर सियासत शुरू हो गई है। विधानसभा चुनाव आगामी वर्ष में होना है। जिसके को लेकर अभी से राजनैतिक पार्टियों ने बिसात बिछाना शुरू कर दी है। गत वर्ष दिसंबर में जननायक टंट्या भील मामा (tribal leader Tantya Bhil) की जयंती पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने पातालपानी (Patalpani Water Falls) में आमसभा कर कई घोषणाएं की थी। हालांकि उनमें से एक भी घोषणा अमलीजामा नहीं पहन पाई है। अब कांग्रेस आदिवासियों को रिझाने में जुटने जा रही है। 9 अगस्त को पूर्व मुख्यमंत्री व कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ पातालपानी आएंगे और सभा को संबोधित करेंगे। इधर जयस भी कई दिनों से आदिवासी दिवस (world tribal day) को मनाने के लिए तैयारी में जुटा हुआ है।
जानकारी के अनुसार 9 अगस्त को कमलनाथ हेलीकॉप्टर से सीधे पातालपानी आएंगे। जिसके लिए एक दिन पहले ही कांग्रेसी नेताओं ने हेलीपेड का निरीक्षण किया है। कमलनाथ यहां सबसे पहले टंट्या मामा की प्रतिमा पर मार्ल्यापण करेंगे। इसके बाद संबोधन देंगे। पातालपानी से ही आजादी की गौरव यात्रा का शुभारंभ होगा। इसके बाद कमलनाथ हेलीकॉप्टर से सीधे जानापाव जाएंगे। हालांकि अभी तक जानापाव में हेलीपेड के लिए जगह का चयन नहीं हुआ है।
इधर आदिवासी संगठन जयस ने एसडीएम कार्यालय में राष्ट्रपति के नाम एक ज्ञापन सौंपा है। जिसमें संयुक्त राष्ट्र संघ (यूएन) द्वारा घोषित 9 अगस्त विश्व आदिवासी दिवस पर पूरे भारत भर में अवकाश घोषित करने की मांग की गई है।
जयस अध्यक्ष भीम सिंह गिरवाल ने बताया कि आदिवासी दिवस भारत सहित दुनिया के 193 देश इस दिवस को बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है। कमलनाथ के आयोजन के लिए गुरुवार को महू विधानसभा कांग्रेसजनों की बैठक हुई। जिसमें कार्यक्रम की रूप रेखा तय की गई। कमलनाथ के कार्यक्रम के लिए यात्रा का प्रभारी देपालपुर विधायक विशाल पटेल को बनाया है।
एक घोषणा भी पूरी नहीं
जननायक टंट्या भील के बलिदान दिवस पर 4 दिसंबर 2021 को पातालपानी आए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान पातालपानी में 6 करोड़ के विकास कार्यो की घोषणा की थी। उन्होंने मंच से पातालपानी क्षेत्र को स्मारक स्थल घोषित करने, बैठने के लिए मंडप, पाथवे का निर्माण, व्यूपाइंट का विस्तार, टंट्या भील पर आधारित अराधना केंद्र बनाया जाएगा। इसके अलावा 4.55 करोड़ रुपए के कार्यो की घोषणा की, जिसमें पर्यटन स्वागत केंद्र, आदिवासी म्यूजियम, स्वंतत्र वाटिका, लाइब्रेरी, विद्युतीकरण काम किए जाएंगे। पातालपानी नवतीर्थ स्थल बनना था। इनमें एक काम भी आज तक शुरू नहीं हुआ है।