उज्जैन रहा अव्वल
वर्ष 2024 में सबसे ज्यादा 7 करोड़ 32 लाख पर्यटक उज्जैन में महाकाल दर्शन के लिए आए। मैहर दूसरे और चित्रकूट तीसरे स्थान पर रहा। पुरातत्व विभाग के अनुसार, राजबाड़ा को देखने पहले करीब 200 पर्यटक इंदौर आते थे, लेकिन अब प्रतिदिन का यह आंकड़ा 1500 तक पहुंच गया है। शाम को लेजर-लाइट शो में 200 से 300 पर्यटक शामिल होते हैं। लाल बाग में भी जहां पहले 100-150 लोग पहुंचते थे, अब इनकी संख्या 1 से 2 हजार तक हो जाती है। संग्रहालय देखने आने वालों की संख्या 100 से 200 तक है। चिडि़याघर जैसी जगह भी लोग पहुंचते हैं।विदेशी पर्यटक भी बढ़े
राजबाड़ा, गांधी हॉल, छतरियां, गोपाल मंदिर, बांके बिहारी मंदिर का स्वरूप बदल गया है। एक्सपर्ट के मुताबिक, जो लोग इंदौर या आसपास आते हैं तो वे इंदौर की विरासत देखने जरूर पहुंचते हैं। हर साल 250 से 300 विदेशी पर्यटक पहुंच रहे हैं। विदेशी मेहमानों का टिकट अलग श्रेणी का होता है। अक्टूबर से मार्च के बीच विदेशी पर्यटकों की आवाजाही ज्यादा होती है।इंदौर के लिए अच्छी कनेक्टिविटी
इंदौर आने लिए फ्लाइट, रेलवे और बस से दिल्ली, मुंबई, चेन्नई, हैदराबाद और बेंगलूरु समेत देश के प्रमुख शहरों की कनेक्टिविटी अच्छी है। लोग प्रमुख मंदिरों में भगवान के दर्शन करने भी बड़ी संख्या में आ रहे हैं। खजराना गणेश मंदिर, रणजीत हनुमान, बिजासन मंदिर, अन्नपूर्णा, पितृ पर्वत जैसे मंदिर इनमें प्रमुख हैं।पर्यटकों की संख्या
वर्ष 2022 – 52,88,123 वर्ष 2023 – 1,01,19,030 वर्ष 2024 – 1,02,42,486वर्ष 2024 में आए पर्यटक
जनवरी – 3,89,539 फरवरी – 3,46,377 मार्च – 5,43,079ये भी पढ़ें: एमपी बोर्ड 10वीं-12वीं परीक्षा को लेकर आया बड़ा अपडेट, बदली परीक्षा की तारीख