क्या होता है एग्जिट पोल? (What Is Exit Poll)
Exit Poll मतदान के बाद आने वाला एक डेटा हैं, जिसमें यह बताया जाता है कि वोटर किस पार्टी को चाह रहे हैं या किस पार्टी या उम्मीदवार के पक्ष में हवा चल रही है। Exit Poll का डेटा इकट्ठा करने के लिए सर्वे करने वाली कंपनियां वोटरों से वोटिंग की जानकारी लेती है। इस जानकारी लेने के प्रक्रिया में वोटर से पूछा जाता है कि उसने किसे वोट दिया है, उसके बूथ पर किस तरह का रुझान है, किस पार्टी के पक्ष में माहौल है। इन सब डेटा के आधार पर Exit Poll तैयार किया जाता है। वोटरों से बातचीत मुख्यतः वोटिंग के दिन पोलिंग बूथ के बाहर की जाती है।
Exit Poll के क्या है नियम?
Exit Poll करवाने वाली कंपनी को चुनाव आयोग से सर्वे के लिए इजाजत लेनी होती है। साथ ही Exit Poll के नतीजे दिखाते समय कंपनी को ये भी बताना होता है कि परिणाम केवल एक अनुमान हैं, जिसे वोटरों से बातचीत करके तैयार किया गया है। Exit Poll को चुनाव खत्म होने के 1 से 2 घंटे बाद ही दिखाया जा सकता है। जिससे वोटर पर कोई भी प्रभाव न पड़ें।
एग्जिट पोल का इतिहास( History Of Exit Poll)
एग्जिट पोल के इतिहास की बात करें तो सबसे पहले अमेरिका में साल 1936 में पहला एग्जिट पोल हुआ था। जिसके बाद 1937 में ब्रिटेन में और 1938 में फ्रांस में एग्जिट पोल करवाया गया था। अगर वहीं भारत की बात करें तो भारत में सबसे पहले एग्जिट पोल की शुरुआत साल 1996 में हुई थी। जिसके बाद अलग-अलग न्यूज़ चैनल इस तरह के सर्वे करते रहे हैं। जिसका प्रचलन अब बहुत बढ़ गया है।