निम्बाहेड़ा थाना पुलिस ने बताया कि निंबाहेड़ा के मोची मोहल्ला निवासी मोहनलाल धोबी, पत्नी ललिता और साली जयश्री मोहन निवासी अहमदाबाद बड़े भाई द्वारा किए गए रात्रि जागरण में शामिल होने के लिए घर से निकले थे। घर से एक किलोमीटर दूर रेलवे ट्रैक के पास हनुमान मंदिर के सामने भैरूजी के देवरे पर रात्रि जागरण किया जा रहा था। वहां अंडरपास भी बना हुआ है, लेकिन जागरण में जल्दी पहुंचने के कारण तीनों ने अंडरपास का इस्तेमाल करने की जगह पटरियों को पार करना मुनासिब समझा।
डीजे बजने के कारण नहीं सुनाई दी ट्रेन की आवाज
इसी दौरान चित्तौड़गढ़ से मध्यप्रदेश की ओर जा रही बांद्रा एक्सप्रेस ट्रेन आ गई। देवरे पर हो रहे कार्यक्रम में डीजे बजने के कारण तीनों को ट्रेन की आवाज सुनाई नहीं दी। अंधेरा होने के कारण ट्रेन सही तरह से दिखाई भी नहीं दी। कुछ लोगों ने तीनों को आवाज लगाई, लेकिन उनको सुनाई नहीं दिया। इस बीच तीनों ट्रेन की चपेट में आए गए।
तीनों की दर्दनाक मौत
पत्नी और साली के तो हाथ पैर ही अलग हो गए। पति का शव भी बुरी हालत में मिला। मौके पर पहुंची पुलिस ने बताया कि पत्नी और साली के तो हाथ पैर ही अलग हो गए। मोहन को अस्पताल ले जाने की कोशिश की गई, लेकिन उसने भी दम तोड़ दिया। पुलिस ने बताया कि मोहन के दो लड़के और दो लड़की है। वह धोबी का काम करता है। एक लड़की की शादी हो गई है। वहीं, जयश्री दो दिन पहले ही अहमदाबाद के निंबाहेड़ा से आई थी।