दरअसल कुछ फिल्मों में पैसा लगाने की वजह से राकेश रोशन का काफी पैसा डूब गया था, लेकिन फिल्म ‘कहो ना प्यार है’ ने उनकी नैया डूबने से बचा ली। क्योंकि फिल्म अच्छी कमाई कर रही थी, जिससे राकेश रोशन की फाइनेंशियल कंडीशन पहले से ठीक हो गई थी। सब कुछ अच्छा चल रहा था, कि एक शाम राकेश रोशन जब अपने ऑफिस से निकले, तो उन पर कुछ लोगों ने हमला बोल दिया और गोलियां बरसाने लगे। गोलियां लगने से राकेश रोशन जख्मी होकर गिर गए।
साल 2000 में जब ऋतिक ‘कभी खुशी कभी गम’ की मेकिंग पर काम कर रहे थे। इस दौरान, पॉपुलर अमेरिकी-ब्रिटिश कॉमेडियन, रूबी वैक्स भारत आए थे और KKKG के शूटिंग सेट पर पहुंचे थे। जिससे जान सके कि भारतीय फिल्मों के बनने का क्या प्रोसीजर होता है। इसके अलावा वह ये भी जानना चाहते थे कि भारतीय फिल्मों के निर्माण में माफियाओं की भागीदारी क्या सच में होती है या ये सिर्फ डिबेट का हिस्सा है!