CG News: मां और बच्चा दोनों स्वास्थ
प्रसव के दौरान बच्चे का शोल्डर में फंसने की समस्या उत्पन्न हुई, जिससे जान का खतरा बना था। हालांकि, मातृशिशु अस्पताल की विशेषज्ञ टीम ने सही समय पर हस्तक्षेप करते हुए सफल प्रसव कराया। इसके अलावा, बच्चे की मां के गर्भाशय में 12 सेंटीमीटर की एक गांठ भी थी, जिसे डॉक्टरों की टीम ने ऑपरेशन करके हटा दिया। बच्चे और उसकी मां की स्वास्थ्य स्थिति अब पूरी तरह से सामान्य है, और दोनों की देखभाल जारी है। यह मामला बीजापुर के अस्पतालों में एक दुर्लभ और खास घटना के रूप में याद किया जाएगा। डॉक्टरों की सूझबूझ से बच्चा और मां दोनों स्वस्थ हैं। नवजात का वजन 2.5 से 3.5 किलोग्राम के बीच होता है..
मातृशिशु अस्पताल की प्रसूति रोग विशेषज्ञ डॉ. आकृति शुक्ला ने बताया कि आमतौर पर नवजात का वजन 2.5 से 3.5 किलोग्राम के बीच होता है, और यह उनके 14 साल के करियर में पहला ऐसा केस है। डॉक्टर के अनुसार, 30 प्रतिशत बच्चों का वजन 2.5 किलोग्राम से भी कम होता है, जबकि 90 प्रतिशत बच्चों का वजन 3.5 किलोग्राम से कम ही होता है।