पूर्व की व्यवस्था के तहत पहले पे-मैनेजर पर सरकारी कार्मिक व अधिकारियों के वेतन, एरियर, विविध वित्तीय बिलों से भुगतान किया जाता था। फरवरी 2024 के बाद से पे-मैनेजर के डेटा आईएफएमएस 3.0 पर ट्रांसफर कर दिए। वित्तीय आहरण वितरण में तकनीकी और डिजिटली रूप ऑपरेट करना जटिल बना दिया। पीडी और पे-मैनेजर से डेटा ट्रांसफर नहीं हो रहे हैं। वेतन बिल बनाने वाले कार्मिक, तकनीकी जानकार, डीडीओ के साथ यहां तक कि कोष कार्यालय के कार्मिक भी कई बार नए पोर्टल की समस्याओं से अनभिज्ञता जाहिर करते हैं। पोर्टल पर आने वाली समस्याओं का निस्तारण कही से नहीं हो पा रहा है। सिस्टम अपडेट करने की जरूरत है।
हेल्प डेस्क से नहीं मिल रही मदद आईएफएमएस पर वेतन, एरियर सहित विभिन्न बिलों में तकनीकी समस्या की हेल्प डेस्क भी मदद नहीं कर पा रही है। यहां डीडीओ की ओर से किए कॉल को कोई रिसीव नहीं करता। हेल्प डेस्क पर तकनीकी समस्या भी भेजी जाती है, तो प्रतिउत्तर नहीं मिल रहा है।
ये आ रही समस्याएं
- किसी कर्मचारी का पुराना वेतन एरियर का भुगतान होने पर ही कार्मिक का बकाया अन्य वेतन एरियर बना सकते हैं।
- सैलरी एरियर में ड्यू ड्रॉन स्टेटमेंट में एरियर बनाने में वास्तविक राशि में अंतर आता है और संशोधन का विकल्प नहीं है।
- सैलरी एरियर का हर कर्मचारी का पृथक से बिल बनाना पड़ रहा है।
- कर्मचारी का स्थानांतरण होने पर यदि कोई एरियर पेंडिंग है, तो पे-मैनेजर की तर्ज पर (अदर ऑफिस इम्पालाइ ) का ऑप्शन मौजूद नहीं है।
- सर्विस डिटेल अपडेट नहीं हो पा रही है।
- कार्मिक का एरियर बनाने में हर बार रिजन, रिजन डेट, सर्विस कैटेगरी, सब सर्विस केटेगरी, पद को भरना पड़ता है।
- एरियर बिल बनाने पर किसी कार्मिक का डीए एरियर मानइस आता है।
- धीमी गति से चलता है
- पीएल सरेंडर में डीडीओ-एचओ-डीडीओ रोल बार-बार चयन कर बिल बनाना पड़ता है।
- एक साथ सभी कार्यरत कार्मिक प्रदर्शित नहीं होते है। एक बार में पांच ही देख पाते हैं। इसलिए कई बार प्रोसेस रिपीट करना होता हैं।
- सभी कार्य एक ही आईडी से होने से आहरण वितरण अधिकारी (डीडीओ) को अपनी आईडी और पासवर्ड सार्वजनिक करनी पड़ रही है।