मिशिगन में कमला हैरिस की जीत की उम्मीद: श्रीथानेदार
श्रीथानेदार ने भारतीय मतदाताओं ( Indian American voters) के महत्व का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा कि मिशिगन जैसे स्विंग स्टेट में कमला हैरिस के लिए बढ़त मिली है। साल 2016 में मिशिगन राज्य में ट्रंप ने जीत हासिल की थी। उन्होंने कहा कि महिलाओं, युवाओं और अल्पसंख्यकों की बेहतरी पर कमला हैरिस का ध्यान है। वहीं, ट्रंप ने अल्पसंख्यकों का अपमान किया है और नस्लीय भेदभाव तथा अप्रवासियों के खिलाफ विवादास्पद टिप्पणी की है। उनका झुकाव धनी कॉरपोरेट्स की ओर रहता है। वहीं थानेदार ने ट्रंप के ‘तानाशाही’ रवैये पर चिंता जाहिर की है। उन्होंने कहा कि ट्रंप के सत्ता में आना भारत के साथ संबंधों के लिए अच्छा नहीं होगा।
‘ट्रंप और कमला हैरिस के बीच दिन-रात का अंतर’
श्रीथानेदार ने आगे कहा, “भारतीय-अमेरिकी एक अखंड समाज नहीं हैं, उनके अलग-अलग दृष्टिकोण हैं, सामाजिक, आर्थिक और प्रवासन मुद्दे हैं। यह बहुत महत्वपूर्ण है कि वे दोनों उम्मीदवारों का अध्ययन करें क्योंकि उनके बीच रात और दिन का अंतर है। कमला हैरिस लोकतंत्र समर्थक हैं, महिला अधिकारों की समर्थक हैं, लेकिन डोनाल्ड अतीत में अप्रवासियों के प्रति बहुत घृणा करते रहे हैं और वे धनी और बड़े निगमों का पक्ष लेते हैं।”
कमला हैरिस जीतीं तो क्या होगा ?
जेएम फाइनेंशियल इंस्टीट्यूशनल सिक्योरिटीज की रिपोर्ट के अनुसार, अगर कमला हैरिस अमेरिका की राष्ट्रपति बनती हैं तो यूएस फेडरल रिजर्व ब्याज दरों में नरमी की नीति अपना सकता है और इसका असर भारतीय रिजर्व बैंक पर भी पड़ेगा। इससे भारत में ब्याज दरों में कटौती हो सकती है, जिसका फायदा लोगों को सस्ते कर्ज के रूप में मिलेगा।
ब्याज दरों में संभावित कटौती के लिए लोगों का इंतजार
कर्ज सस्ता होने से कर्ज की मांग भी बढ़ेगी। बैंकिंग वित्तीय कंपनियों को इससे खास तौर पर फायदा हो सकता है। वहीं, अगर चुनाव में डोनाल्ड ट्रंप को जीत मिलती है तो अमेरिका में ब्याज दरें ऊंचे स्तर पर बनी रह सकती हैं। इससे भारतीय रिजर्व बैंक पर ऊंची ब्याज दरें बनाए रखने का दबाव रहेगा। इसका मतलब है कि ब्याज दरों में संभावित कटौती के लिए लोगों का इंतजार बढ़ जाएगा।
भारतीय-अमेरिकी श्रीथानेदार : एक नज़र
प्रवासी भारतीय श्रीथानेदार का पूरा नाम हरि थानेदार है,जो एक भारतीय-अमेरिकी राजनीतिज्ञ हैं और वे मिशिगन के 13वें कांग्रेसीय जिले का प्रतिनिधित्व करते हैं और डेमोक्रेटिक पार्टी के सदस्य हैं। वे सन 2022 में अमेरिका की कांग्रेस के लिए चुने गए। थानेदार का जन्म भारत में हुआ था और वे 1979 में अमेरिका चले गए थे। उनका राजनीतिक करियर विभिन्न सामाजिक और आर्थिक मुद्दों पर केंद्रित है, जिसमें शिक्षा, स्वास्थ्य देखभाल और इमिग्रेशन शामिल हैं। वे अक्सर भारत और अमेरिका के बीच रिश्ते सुधारने की दिशा में काम करते हैं।