योगेन्द्र यादव कचहरी स्थित शास्त्री घाट पर आयोजित नागरिकता अधिकार सम्मेलन में बतौर मुख्य वक्ता भाग लेने आये थे। मीडिया से बातचीत के दौरान उन्होंने कहा कि एनआरएसी के विरोध में लोग आंदोलन करने को तैयार है लेकिन पुलिस उन्हें अनुमति नहीं दे रही है। पहले सीएए का समर्थन करने वालों को अनुमति दी जाती है इसके बाद विरोध करने वालों को। योगेन्द्र यादव ने कहा कि यूपी में पिछले 20 दिन मेें जो हुआ है वह कानून के साथ मजाक है। इंदिरा गांधी ने देश में इमरजेंसी लगायी थी जनता से जिस तरह उन्हें सबक सिखाया वह सभी जानते हैं। उन्होंने कहा कि यूपी में कानून का उल्लंघन करने व संविधान का मजाक उड़ाने वालों को जनता ऐसा ही सबक सिखायेगी। बीजेपी की सीएए के समर्थन में हो रही रैली पर कहा कि लोकतंत्र में सभी को अपनी बात रखने का अधिकार है यदि उन्हें भी रैली करने की अनुमति नहीं मिलती तो भी इसका विरोध करता। सभी को जनता को सच बताने का अधिकार है इसके बाद जनता क्या जनता ही सही व गलत का निर्णय करेगी। योगेन्द्र यादव ने कहा कि जिस तरह गुंडों के जरिए लाइब्रेरी में बैठे छात्रों की पिटाई करायी गयी। जेएनयू में गुंडों को भेज कर उन्हें पुलिस की सुरक्षा दिलायी गयी। ऐसा करने का किसी को अधिकार नहीं है।
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