मौलाना तौकीर रजा ने कहा कि देश के मौजूदा हालात के खिलाफ अब धरना या ज्ञापन नहीं, बल्कि बड़ा आंदोलन होगा। उन्होंने आरोप लगाया कि यति नरसिंहानंद जैसे लोग पैगंबर-ए-इस्लाम का अपमान कर रहे हैं, लेकिन उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हो रही। उन्होंने ऐलान किया कि इसका जवाब दिल्ली के रामलीला ग्राउंड में बड़े प्रदर्शन के रूप में दिया जाएगा, जिसमें न केवल बरेली और आसपास के लोग, बल्कि पूरे देश के लोग शामिल होंगे।
मौलाना ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर आरोप लगाते हुए कहा कि वह केवल सनातन धर्म के लिए काम कर रहे हैं, जबकि अन्य धर्मों के लोगों के साथ भेदभाव हो रहा है। उन्होंने कहा कि मुसलमानों की आस्था और उनके पैगंबर के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणियां की जा रही हैं, लेकिन सरकार कोई कार्रवाई नहीं कर रही। मौलाना ने आरोप लगाया कि देश में दो तरह के कानून चल रहे हैं – एक आम नागरिकों के लिए और दूसरा मुसलमानों के लिए।
मौलाना ने इस्लाम छोड़कर दूसरे धर्म में जाने वाली लड़कियों के बारे में कहा कि इस्लाम को ऐसे लोगों की जरूरत नहीं है। उन्होंने कहा कि यह अच्छा है कि वे खुद ही इस्लाम छोड़कर चली गईं, क्योंकि कमजोर आस्था वाले लोगों का इस्लाम में कोई स्थान नहीं है। मौलाना तौकीर रजा ने कहा कि कुछ संगठनों और व्यक्तियों द्वारा महापुरुषों की शान में अपमानजनक बयान दिए जाते हैं, जिससे देश में अशांति फैलती है। उन्होंने सरकार से ऐसे लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की, ताकि देश में अमन और शांति बनी रहे।
कार्यक्रम के दौरान एक पत्रकार के साथ बदसलूकी का मामला भी सामने आया। मौलाना तौकीर रजा के भाषण के दौरान एक युवक ने एक पत्रकार के साथ मारपीट की, जिससे वहां अफरातफरी मच गई। मौलाना ने इस घटना की निंदा करते हुए कहा कि किसी के साथ दुर्व्यवहार नहीं होना चाहिए और जिसने भी यह हरकत की है, उसे पुलिस के हवाले किया जाए।