प्रदेश को अग्रणी करना है तो कमलनाथ की सोच पर ही कार्य करना होगा
प्रदेश को अग्रणी करना है तो कमलनाथ की सोच पर ही कार्य करना होगा। वोट के लिए चुनाव के समय छोटी-छोटी लुभावनी घोषणा में उलझाकर पिछले 15 सालों में प्रदेश को देश में बहुत पीछे कर दिया है। शहरों का विकास छिंदवाड़ा मॉडल को सामने रखकर किया जाए तो सभी 52 जिलों का विकास होगा। सबका विकास होगा तो हमारा प्रदेश विकसित होगा। नालेज सिटी का न होना, एजुकेशन हब का न होना, बंद औद्योगिक उपक्रम के कारण उज्जैन विकास में पिछड़ गया है।
जवाहरलाल शहरी नवीनीकरण मिशन से भी कमलनाथ ने ही उज्जैन को उनके शहरी विकास मंत्री रहते जोड़ा था, जिसमें 5000 करोड़ रूपये पिछले 12 वर्षों में इस नगर को मिले पर वैसा विकास नहीं मिला। कार्यक्रम में विचार व्यक्त करते हुए ज्योतिर्विद पं. आनंदशंकर व्यास ने बताया कि प्राचीन धरोहर को नुकसान पहुंचाकर नहीं, उन्हें सहेजकर विकास होना चाहिए।
लेखक शिव शर्मा ने कहा कि आवश्यकता से दूर मार्केट, दुकान या शोरूम नहीं चल सकते, जहां आवश्यकता हो वहीं विकास होना चाहिए।
पूर्व उपमहापौर अकबर अली ने विकास की आवश्यकता पर जोर दिया। सिख समाज के प्रमुख सुरेन्द्रसिंह अरोरा ने कहा कि व्यापक दृष्टिकोण से कार्य किया जाए तो ही विकास होता है।
कार्यक्रम के प्रारंभ में पं. गिरीश पाठक, कुतुब फातेमी, दिनेश हरभजनका ने अतिथियों का स्वागत किया। पूर्व विकास प्राधिकरण अध्यक्ष राजहुजूरसिंह गौर, पूर्व विधायक राजेंद्र भारती, पूर्व विधायक रामलाल मालवीय, पूर्व विधायक वीरेंद्रसिंह सिसौदिया, शहर कांग्रेस अध्यक्ष महेश सोनी, जिलाध्यक्ष कमल पटेल, जिला पंचायत अध्यक्ष महेश परमार, पूर्व जिलाध्यक्ष रामेश्वर पटेल, पार्षद माया राजेश त्रिवेदी, समाजसेवी सूरज गौर, वरिष्ठ कांग्रेस नेता अमानउल्ला खान आदि उपस्थित रहे।