माना जा रहा है कि सात हजार हेक्टेयर के विशाल क्षेत्र में बनने वाले इस रिजर्व के आकार लेने के बाद जिले में वन्यजीवों व इंसानों के बीच संघर्ष को रोकने में कुछ हद तक मदद मिलेगी। कंजर्वेशन रिजर्व के चारों ओर 68 किलोमीटर की छह फीट ऊंची दीवार बनाई जाएगी। इस क्षेत्र में पर्याप्त संख्या में शाकाहारी जीव होंगे, ताकि तेंदुओं के लिए भोजन की कमी ना हो और उनका आबादी में पलायन रुक सके। यहां शाकाहारी वन्यजीवाें के लिए 100 हेक्टेयर क्षेत्र में ग्रासलैंड बनाया जाना है। वहीं चीतल, हिरण, सांभर, चिंकारा जैसे शाकाहारी वन्यजीवाें के लिए 3.5 हेक्टेयर का एनक्लाेजर बनेगा। वन विभाग की ओर से कंजर्वेशन रिजर्व के लिए करीब 33 करोड़ के बजट प्रस्ताव सरकार को भिजवाए गए हैं। कंजर्वेशन रिजर्व का कार्य दो साल में पूरा होने का अनुमान था, लेकिन एक साल का समय बजट मंजूर होने में ही गुजर गया।
जिले में शुरू होगी दूसरी लैपर्ड सफारी
अमरख महादेव लैपर्ड कंजर्वेशन रिजर्व का काम पूरा होने के बाद यहां जिले की दूसरी लैपर्ड सफारी शुरू किए जाने की योजना है। कंजर्वेशन रिजर्व में तीन पेट्रोलिंग ट्रेक बनाए जाएंगे। इनमें एक की लंबाई 33 किलोमीटर, दूसरे की 20.5 और तीसरे की 53.5 किलोमीटर होगी। इन्हें बाद में सफारी के काम लिया जाएगा। अभी जिले में जयसमंद में लैपर्ड सफारी संचालित है।
दो रेंज में होगा विस्तार
अमरखजी कंजर्वेशन रिजर्व का विस्तार उदयपुर उत्तर डिविजन की दो रेंज उदयपुर पूर्व से लेकर भिंडर तक प्रस्तावित है। यहां निगरानी के लिए 6 चाैकियां बनेंगी। साथ ही 2 वाॅच टावर बनेंगे। वन्यजीवों के लिए पानी की उपलब्धता बनी रहे इसके लिए 6 बोरिंग कराए जाएंगे, 18 एनीकट, 4 तलाइयां बनाई जाएगी। वाटर हाॅल तक पानी पहुंचाने के लिए 48 किमी लंबी पाइप लाइन डाली जाएगी। रिजर्व एरिया 7000 हेक्टेयर में होगा। इसमें अमरखजी महादेव की 43 हेक्टेयर जमीन भी शामिल की गई है।
लेकसिटी के पर्यटन में नया आकर्षण
अमरखजी लैपर्ड रिजर्व उदयपुर में पर्यटकों के लिए नया आकर्षण होगा। यहां झालाना और जवाई बांध की तरह तेंदूए आसानी से देखे जा सकेंगे। शहर में वन्यजीव पर्यटन के लिए अभी सज्जनगढ़ जैविक उद्यान ही एक मात्र स्थान है। जबकि लैपर्ड सफारी के लिए जयसमंद जाना पड़ता है। वहां भी वन्यजीवों की साइंटिंग आसान नहीं होती।
इनका कहना …
विभाग की ओर से अमरख महादेव कंजर्वेशन रिजर्व में प्रे-बेस बढ़ाने का कार्य शुरू कर दिया गया है। बजट के प्रस्ताव राज्य सरकार को भिजवाए हुए हैं। बजट मिलने के साथ ही इसका कार्य शुरू हो जाएगा। – अजय चित्तौड़ा, उपवन संरक्षक, उत्तर