बीते साल के आखिरी कुछ दिनों में हुए आयोजन नए साल में सूरत पर भारी पड़ते दिख रहे हैं। दिसंबर महीने में शहर में हुनर हाट, साइक्लोथॉन, नदी महोत्सव समेत कई सरकारी और राजनीतिक आयोजन हुए थे। उस दौरान कोरोना गाइडलाइन को धता बताकर हजारों की संख्या में लोग जुटे थे। प्रशासन ने इसे अपनी बड़ी उपलब्धि के रूप में भी प्रचारित किया था। विशेषज्ञों ने उस वक्त भी चेताया था कि यह लापरवाही आने वाले दिनों में भारी पडऩे वाली है, जिसे हवा में उड़ा दिया गया था।
नए साल की शुरुआत के साथ ही संक्रमण ने अपना असर दिखाना शुरू कर दिया है। संक्रमितों के लगातार सामने आने के बाद पॉजिटिविटी रेट में भी खासा इजाफा हो रहा है। कोरोना की दूसरी लहर के पीक में संक्रमण की जो दर 13 फीसदी थी, वह फिलवक्त साढ़े आठ फीसदी को पार कर गई है। चार दिन बाद मकर संक्रांति पर्व सूरतीयों के धैर्य की परीक्षा लेता दिखेगा। जानकारों का मानना है कि अब भी नहीं संभले तो जनवरी के अंतिम दिनों में पॉजिटिविटी रेट 30 फीसदी के ब्रैकेट को भी पार कर जाएगा।
बच्चों में भी फैल रहा संक्रमण जनवरी महीने में संक्रमण बच्चों में भी अपनी पैठ बना रहा है। यह आंकड़ा आने वाले दिनों में और बढ़ सकता है। इसे लेकर अभिभावकों में चिंता व्याप्त है। अब तक 20 फीसदी से अधिक छात्र कोरोना की चपेट में आ गए हैं।
90 फीसदी पार पहुंचा बच्चों का टीकाकरण शहर समेत जिलेभर में प्रशासन ने बीती तीन जनवरी से 15 से 18 वर्ष की उम्र के बच्चों के टीकाकरण का अभियान चलाया हुआ है। सोमवार तक 90 फीसदी से ज्यादा बच्चों का टीकाकरण कराया जा चुका है। जिले की कामरेज तहसील में सभी बच्चों का टीकाकरण हो चुका है।