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स्टॉफ के अभाव में 20 बेड का वार्ड बंद

सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र हिण्डोली में काफी समय से स्टाफ की कमी के चलते यहां पर आने वाले रोगियों व घायलों को उपचार के दौरान परेशानी का सामना करना पड़ता है।

बूंदीJun 23, 2024 / 07:32 pm

पंकज जोशी

स्टॉफ के अभाव में 20 बेड का वार्ड बंद

हिण्डोली सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र।

हिण्डोली. सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र हिण्डोली में काफी समय से स्टाफ की कमी के चलते यहां पर आने वाले रोगियों व घायलों को उपचार के दौरान परेशानी का सामना करना पड़ता है।

जानकारी अनुसार बरसों से यहां पर स्टाफ की कमी का दंश झेल रहे सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में आने वाले रोगी परेशानी हैं। यहां पर राष्ट्रीय राजमार्ग 52 व 148 डी पर आए दिन हो रही सड़क दुर्घटना के घायलों को भी चिकित्सालय पर लाया जाता है, लेकिन नर्सिंग स्टाफ की कमी के चलते घायलों को समय पर उपचार नहीं मिल पाता है।उन्हें आनन फानन में यहां से सीधे बूंदी रेफर कर दिया जाता है , जिससे उनकी जान पर बन रही हैं।
यहां पर वर्तमान में सुबह के शिफ्ट में मात्र तीन नर्सिंग कर्मी, दिन व रात की शिफ्ट में मात्र दो- दो नर्सिंग स्टाफ काम कर हैं । यहां पर 12 नर्सिंग कर्मियों के पद रिक्त चल रहे है। ऐसे में आउटडोर में 400 से अधिक रोगी रहने के कारण के इंजेक्शन ,पट्टी करने ,बोतल चढ़ाने सहित अन्य कार्य में भागदौड़ अधिक करनी पड़ती है।
20 बेड के वार्ड पड़े हैं बंद
गत वर्ष यहां पर सरकार ने 30 बेड बढ़कर 50 बेड स्वीकृत कर दिया गया था। उसी के साथ यहां पर चिकित्सा और नर्सिंग स्टाफ भी बढ़ना चाहिए था। आनन-फानन यहां पर 30 से 50 बेड होने पर 20 बेड ऊपर की मंजिल पर लगा दिए, लेकिन स्टाफ नहीं होने से अब 20 बेड वाले वार्ड बंद रहता है। वहां पर लोगों की भर्ती नहीं होती कई बार रोगी वार्ड में ठसाठस भर्ती किया जाता है। सूत्रों ने बताया कि ऊपर का वार्ड खोल देंगे तो स्टाफ की कमी के चलते रोगियों को संभालने में दिक्कत रहेगी।
एमओ के भरोसे है रोगी
यहां पर फिजिशियन, सर्जन, सीनियर डॉक्टर के पद रिक्त होने के कारण यहां पर लगे चिकित्सा अधिकारी ही रोगियों को देखते हैं। कई बार गंभीर रोगी आने पर उन्हें यहां से तत्काल रेफर कर दिया जाता है।
दवा वितरण केंद्र के हाल खराब
चिकित्सालय पर दवा वितरण केंद्र प्रभारी को स्टोर की जिम्मेदारी भी दे रखी है, जिससे वह दवा वितरण केन्द्र पर ध्यान नहीं दे पाता है। 400 लोगों के आउटडोर में दवा लेने वाले रोगी एक कर्मचारी पर निर्भर है, जिससे उसे भी काफी परेशानी होती है।
12 नर्सिंग स्टाफ की कमी
यहां पर वर्तमान में प्रथम नर्स ग्रेड के दो पद रिक्त पड़े हुए हैं एवं 12 नर्सिंग कर्मियों का पद रिक्त होने के कारण सात कर्मियों को 24 घंटे रोगियों की सेवा करनी पड़ती, जिसमें सुबह के समय तीन मे एक एक इंजेक्शन रूम में लगा रहता है। दूसरा इंडोर, तीसरा इमरजेंसी में, ऐसे में रोगी आने पर उन्हें की सार संभाल करने में समय लग जाता है।ऐसे में कई बार रोगी गुस्सा हो जाते हैं।यहां पर रिक्त पड़े नर्सिंग स्टाफ के पद भर जाए, ताकि नियमित रूप से रोगों की सेवा की जा सके।
चिकित्सालय में नर्सिंग स्टाफ की कमी के चलते रोगियों को परेशानी होती है। एक कार्मिक भी अवकाश पर चले जाने से व्यवस्थाएं गड़बड़ जाती हैं। यहां पर नर्सिंग स्टाफ लगाने के लिए अधिकारियों को कई बार पत्र व्यवहार किया गया है। पर्याप्त स्टाफ आने के बाद लोगों को किसी प्रकार की असुविधा नहीं रहेगी।
रमेश कुशवाहा, चिकित्सालय प्रभारी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र हिण्डोली।

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