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पत्रिका स्टिंग ऑपरेशनः बिना आईडी ठहरो, कुछ भी रखो ट्रेन में

होटल में आतंकी ठहरने के बाद भी पुलिस व संचालक सतर्क नहीं, स्टेशन पर नहीं होती पुख्ता जांच

Jul 17, 2016 / 09:47 am

सुनील शर्मा

Train Service

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अजमेर। दरगाह बाजार स्थित होटल में आईएसआईएस के आतंकी ठहरने का मामला अभी ठंडा भी नहीं पड़ा कि शहर में दरगाह बाजार और उसके आस-पास के होटल और गेस्ट हाउसों में बिना पहचान-पत्र के मेहमानों को ठहराना शुरू कर दिया है। इतना ही नहीं कई बार आतंकी हमलों की चेतावनी झेल चुके अजमेर रेलवे स्टेशन पर भी सुरक्षा के पुख्ता बंदोबस्त नहीं हैं।

स्टेशन पर कोई भी व्यक्ति आसानी से बे-रोकटोक बैग लेकर न केवल प्रवेश कर सकता है बल्कि किसी भी ट्रेन में आसानी से आपत्तिजनक वस्तु या विस्फोटक सामग्री रखकर बाहर आ सकता है। राजस्थान पत्रिका शनिवार को दरगाह बाजार धानमंडी के पास स्थित होटल में बिना पहचान-पत्र के ठहरने और रेलवे स्टेशन पर बिना किसी जांच-तलाशी के बैग लेकर प्रवेश करने से लेकर शताब्दी एक्सप्रेस जैसी वीआईपी ट्रेन में आपत्तिजनक वस्तु के रूप में प्लास्टिक बॉल रखने का स्टिंग आपरेशन किया।

पत्रिका की टीम आम जायरीन की तर्ज पर बैग लेकर होटल की तलाश में सुबह लाखन कोटड़ी, धानमंडी और ममैयों का चौक पहुंची। टीम स्थानीय युवक के जरिए धानमंडी ममैयों का चौक स्थित होटल सुख सुविधा-इन पहुंची। टीम ने स्वागत काउंटर पर कमरा दिखाने को कहा। कमरा देखने के बाद टीम ने वहां मौजूद महिला मैनेजर को स्पष्ट बताया कि उनके पास आईडी नहीं है। आईडी के अभाव में वे ठहरा सकते हैं क्या? मैनेजर ने बाद में आईडी मंगाने की बात कहते हुए 11 सौ रुपए में कमरा बुकिंग की रसीद दे देकर सामान कमरे में रखवा दिया। करीब एक घंटे तक होटल में ठहरने के बाद टीम वहां से रवाना हो गई।

तीसरा सदस्य भी बैग लेकर पहुंचा
शाम करीब पौने पांच बजे टीम दुबारा होटल पहुंची। सवा पांच बजे पत्रिका टीम का तीसरा सदस्य भी एक बैग लेकर होटल पहुंचा, तीसरे सदस्य से भी किसी प्रकार की पूछताछ या तलाशी किए बिना कमरे में भेज दिया गया। तीसरा सदस्य होटल से बैग बदलकर सीधा रवाना हो गया। शाम करीब 6 बजे पत्रिका टीम ने भी होटल से चैक आउट कर दिया। मैनेजर ने आईडी मांगी तो बाद में भेजने की बात कहकर टीम रवाना हो गई।

शताब्दी में रखी प्लास्टिक बॉल
पत्रिका टीम दोपहर बैग लेकर रेलवे स्टेशन परिसर में पहुंची। पार्र्किंग के पास बनाए गए आरक्षण काउंटर के नजदीक से प्लेटफार्म एक पर बेरोक टोक प्रवेश किया, इस रास्ते पर न किसी प्रकार से सामान की तलाशी की व्यवस्था है न ही डोर फ्रेम मेटर डिटेक्टर से यात्रियों की जांच हुई। पत्रिका टीम प्लेटफार्म नंबर एक पर खड़ी शताब्दी एक्सप्रेस के कोच नंबर सी 9 में पहुंची। कोच के बाहर अटेंडेंट और भोजन व्यवस्था में तैनात कर्मी मौजूद थे, लेकिन किसी ने नहीं रोका। कोच की सीट नंबर 33-34 पर बैठकर टीम ने बैग में रखी प्लास्टिक बॉल को निकाला। बॉल पर टीम के सदस्यों के नाम लिखे और बॉल को सीट के नीचे रखकर टीम आसानी से उसी रास्ते से बाहर निकल गई।

सुरक्षा की खुली पोल

होटल में आईएसआईएस के आतंकी ठहरने के बाद पुलिस की ओर से जारी किए अलर्ट की पोल पत्रिका के स्टिंग से खुल गई है। इतनी बड़ी घटना को न तो पुलिस और खुफिया एजेंसियों ने होटल संचालकों पर सख्ती की। न ही रेल प्रशासन, आरपीएफ और जीआरपी ने स्टेशन की सुरक्षा में गंभीरता दिखाई।

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