Sawai Madhopur News: आषाढ़ माह बीतने को है और तीन दिन बाद सावन का महीना शुरू हो जाएगा, लेकिन सवाईमाधोपुर जिले में अब तक मानसून की बेरुखी बनी है। स्थिति यह है कि अब तक जिले में औसत से आधी भी बारिश नहीं हो सकी है। जिले में औसत बारिश साढ़े छह सौ एमएम है, जबकि एक जून से 18 जुलाई तक केवल 233.17 एमएम बारिश दर्ज की है। आषाढ़ के महीने में आसमान में उमड़े रहे बादल बिना बरसे लौट रहे हैं। खेतों की प्यास नहीं बुझ पा रही है। ऐसे में फसलों की सिंचाई का भी संकट बना है। उमस भरी गर्मी में हर कोई पसीना-पसीना नजर आ रहा है।
अब तक जिले में हुई औसत बारिश में चौथकाबरवाड़ा क्षेत्र आगे है। यहां अब तक 317 एमएम बारिश हुई है, जबकि मित्रपुरा तहसील में सबसे कम 91 एमएम ही बारिश दर्ज की गई है। जिला मुयालय पर भी अब तक केवल 272 एमएम बारिश ही हो सकी है।
बारिश नहीं होने से किसान चिंतित
जुलाई के 18 दिन बीत गए है। खेतों में बुवाई कर चुके किसान मानसून की बेरुखी से चिंतित हैं। लगभग एक-दो बारिश के बाद अब आषाढ़ का पूरा माह ही सूखा बीत रहा है। बादलों की बेरुखी से अन्नदाताओं के माथे पर चिंता की लकीरें हैं। किसानों ने बताया कि कुछ और दिनों तक यदि अच्छी बारिश नहीं हुई तो फसलें झुलस जाएगी।
बारिश नहीं होने से फिर बढ़ने लगा पारा
सवाईमाधोपुर जिले में मानसून की बेरूखी व उसमभरी गर्मी से एक बार फिर दिन व रात का पारा बढ़ने लगा है। जिला मुख्यालय समेत ग्रामीण अंचलों में गुरुवार को भी दिनभर आसमान में बादलों की आवाजाही बनी रही। दिन में बूंदाबांदी हुई, लेकिन उमस का जोर रहा। शाम को भी बारिश नहीं होने से उमस से लोग परेशान रहे। रात में भी नहीं मिली राहत उमस के मारे कूलर और पंखे फेल नजर आ रहे हैं। दिनभर पसीने से तरबतर लोगों को रात में भी राहत नहीं मिली। बारिश नहीं होने से पारे में भी उछाल आ गया है। जिला मुख्यालय पर गुरुवार को अधिकतम तापमान 34 डिग्री व न्यूनतम तापमान 28 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया।