इस प्रकार की कोई भी कॉल या किसी अन्य के द्वारा कही गई बातों में न आकर इसकी सत्यता की पूरी जांच करें। साथ ही ज्यादा परेशानी होने पर तुरंत नजदीक के थाने में जाकर इस ठगी के बारे में बात करनी चाहिए। इससे अन्य लोगों को भी ठगी से बचाया जा सकता है। बताया कि धोखाधड़ी होने के तुरंत बाद बैंक से संपर्क करने पर राशि फिर से मिलने की संभावना ज्यादा रहती है। बैंक या अन्य सरकारी संस्था बिना नोटिस के ऐसे कार्यवाही नहीं करती। उन्होंने आगाह करते हुए कहा कि कभी-भी अनजान व्यक्ति का फोन नहीं उठाएं। ओटीपी, बैंक मोबाइल नम्बर, खाता नम्बर किसी को भी नहीं बताएं। इसी प्रकार की जागरुकता रखते हुए हम साइबर ठगी तथा डिजिटल अरेस्ट जैसी घटनाओं को रोक सकते हैं।
इस पर व्यापारियों के प्रश्न पर पुलिस अधिकारी ने बताया कि आपके साथ कोई ठगी हो तो तुरंत नजदीक के थाना, बैंक आदि में जाकर तुरंत इसकी रिपोर्ट दर्ज करानी चाहिए। बैंक में जाकर जितना जल्दी हो सके अपने बैंक खाते, एटीएम, डिजिटल ट्रांजेक्सन को बंद करवा देना चाहिए। इस मौके पर हेड कांस्टेबल चंदनसिंह, माधवसिंह, सरवन कुमार, राजू लाल वाल्मीकि, भंवरलाल रेगर, सुरेश कुमार, राजेंद्रसिंह, विजयपाल सिंह, अजय, बॉबी नायक आदि मौजूद रहे।