Sharad Purnima 2024: आधीरात तक शरदोत्सव की धूम
Sharad Purnima 2024: मंदिरों में महाआरती के बाद अमृत खीर का प्रसाद बांटा गया, जिसमें बड़ी संया में श्रद्धालु शामिल थे। गुरुवार को स्नान-दान की पूर्णिमा होने से शहर के लोग महादेवघाट में पुण्य की डुबकी लगाकर सूर्यदेव को अर्ध्य और दान करेंगे। दूधाधारी मठ के महंत रामसुंदर दास ने खुले आसमान के नीचे खुद खीर और पूड़ी बनवाने में लगे रहे।
इसके बाद भगवान का अभिषेक पूजन, महाआरती कर भक्तों में प्रसाद वितरित किया गया। महामाया मंदिर के पंडित मनोज शुक्ला ने बताया कि 51 किलो से अधिक दूध की खीर खुले आसमान में पकाई गई। रात 12 बजे मां महामाया का अभिषेक,
महाआरती के बाद प्रसाद वितरित किया गया।
श्रीकृष्ण ने किया था महारास
पंडित मनोज शुक्ल के अनुसार
शरदपूर्णिमा के दिन ही द्वापरयुग में भगवान श्रीकृष्ण ने महारास किया गया। शास्त्रों के अनुसार यह समय वर्ष का मध्यकाल होता है। इस तिथि पर 16 कलाओं से परिपूर्ण चंद्रमा उदित होता है। पृथ्वी के ज्यादा नजदीक होने से ऐसी मान्यता है कि पूर्णिमा की चांद से अमृत बरसता है।इसलिए खुले आसमान में खीर प्रसाद खाने की परंपरा है, जिसे ग्रहण से रोग, दोष, पापों से मुक्ति मिलती है।