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नाबालिगों की स्टंटबाजी बाइक मालिक को पड़ी भारी, मजदूरी करने वाले को देना पड़ेगा 25 हजार जुर्माना मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी रीना बाबासाहेब कंगाले ने बताया कि सभी कलेक्टरों और जिला निर्वाचन अधिकारियों द्वारा संपत्ति विरुपण अधिनियम के तहत कुल 1 लाख 91 हजार 700 प्रकरण चिन्हांकित किए गए हैं। इनमें सार्वजनिक संपत्ति से संबंधित 1 लाख 39 हजार 740 और निजी संपत्ति से संबंधित 51 हजार 960 प्रकरण शामिल हैं। सभी जिलों में जिला प्रशासन द्वारा इन्हें हटाने की कार्रवाई जारी है। अधिनियम के अंतर्गत दुर्ग जिले में सरकारी और निजी संपत्तियों से बैनर, पोस्टर, वॉल राइटिंग इत्यादि हटाने की 11 हजार 39 कार्रवाई की गई है।
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यात्रियों के लिए अच्छी खबर.. नवरात्रि पर 10 रद्द ट्रेनें चलाएगा रेलवे इसी तरह रायपुर में 12 हजार 38, सुकमा में 1478, गरियाबंद में 5200, बेमेतरा में 2913, खैरागढ़-छुईखदान-गण्डई में 1223, बालोद में 13 हजार 578, जशपुर में 2461, मनेन्द्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर में 373 और सरगुजा में 9881 कार्रवाई की गई है। संपत्ति विरुपण अधिनियम के तहत बलौदाबाजार-भाटापारा जिले में कुल 7977, रायगढ़ में 6052, सूरजपुर में 2172, कांकेर में 2016, बिलासपुर में 4305, दंतेवाड़ा में 491, महासमुंद में 6336, जांजगीर-चांपा में 4634, बस्तर में 488, कोरबा में 9106, कोण्डागांव में 9262, कबीरधाम में 1468, बीजापुर में 642, सारंगढ़-बिलाईगढ़ में 1401, राजनांदगांव में 1350, बलरामपुर-रामानुजगंज में 7432, गौरेला-पेण्ड्रा-मरवाही में 2384, कोरिया में 615, नारायणपुर में 634, मुंगेली में 7789, सक्ती में 5245, और धमतरी में 5464 संपत्तियों से वॉल राइटिंग, पोस्टर और बैनर हटाने की कार्रवाई की गई है।