दरअसल, अदिति सिंह काफी वक्त से कांग्रेस विरोधी गतिविधियों में शामिल रही हैं। पिछले साल से पार्टी व्हिप का उल्लंघन करते हुए अदिति विधानसभा के विशेष सत्र में शामिल होने पहुंची थीं। कांग्रेस ने अपनी नाराजगी दिखते हुए कारण बताओ नोटिस जारी किया।
इस मुद्दे पर अदिति सिंह ने कहा कि, दुनिया इस समय कोरोना महामारी से लड़ रही है, मेरा सबसे निवेदन है कि श्रमिक भाइयों की मदद ज्यादा से ज्यादा करें, मेरे निजी टि्वटर हैंडल पर क्या चल रहा है? इससे ज्यादा महत्वपूर्ण विषय है, कोरोना वायरस से लड़ाई और पीड़ितों की मदद।
कुछ दिन पहले बस विवाद पर कांग्रेस और योगी सरकार आमने-सामने थी तो अदिति सिंह पार्टी का साथ छोड़ भाजपा के पक्ष में खड़ी नजर आईं। अदिति सिंह ने ट्वीट कर कहा था, ‘आपदा के वक्त ऐसी निम्न सियासत की क्या जरूरत? एक हजार बसों की सूची भेजी, उसमें भी आधी से ज्यादा बसों का फर्जीवाड़ा, 297 कबाड़ बसें, 98 ऑटो रिक्शा व एंबुलेंस जैसी गाड़ियां, 68 वाहन बिना कागजात के, यह कैसा क्रूर मजाक है, अगर बसें थीं तो राजस्थान, पंजाब, महाराष्ट्र में क्यूं नहीं लगाई?’ कोटा मामले में भी अदिति सिंह ने योगी आदित्यनाथ की तारीफ की थी।