उनका दर्द, उनकी पीड़ा, उनकी सिसकी देश में हर दिल ने सुनी, पर शायद सरकार ने नहीं। उन्होंने सरकार से कहा कि खजाने का ताला खोलकर हर परिवार को दस हजार रुपए तत्काल मदद करने का समय है।
पुलवामा में बड़ी आतंकी साजिश नाकाम, सेना के जवानों को विस्फोटक से भरी कार को उड़ाया भीषण गर्मी से मिलेगी राहत, मौसम विभाग ने बताया कब और कहां होगी बारिश सोनिया ने कांग्रेस के केन्द्र सरकार के खिलाफ स्पीक अप इंडिया ( SpeakUpIndia ) ऑन लाइन आंदोलन ( Online movement ) के तहत सोशल मीडिया ( Social Media ) प्लेटफॉर्म पर लोगों को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि करोड़ों रोजगार चले गए, लाखों धंधे चौपट हो गए, कारखानें बंद हो गए, किसान को फसल बेचने के लिए दर-दर की ठोकरें खानी पड़ीं।
यह पीड़ा पूरे देश ने झेली, पर शायद सरकार को इसका अंदाजा ही नहीं हुआ। उन्होंने कहा कि पहले दिन से ही कांग्रेस के सभी साथियों समेत अर्थ-शास्त्रियों, समाज-शास्त्रियों और समाज के अग्रणी हर व्यक्ति ने सरकार से आगे बढ़ कर घाव पर मरहम लगाने की अपील की। यह वक्त भी ऐसा ही है।
सरकार नहीं सुन रही, इसलिए सामाजिक अभियान जरूरी
सोनिया ने कहा कि सरकार को इस समय मजदूर, किसान, उद्योग, छोटा दुकानदारों समेत सबकी मदद करनी चाहिए। पता नहीं केंद्र सरकार को यह बात समझ नहीं आ रही है और इसे लागू करने से लगातार इंकार कर रही है। इसलिए, कांग्रेस के साथियों ने फैसला लिया है कि भारत की आवाज बुलंद करने का यह सामाजिक अभियान चलाना है।
हर परिवार को तत्काल 10 हजार दे सरकार
सोनिया ने कहा कि हमारा केंद्र सरकार से फिर आग्रह है कि खज़ाने का ताला खोलिए और जरूरत मंदों को राहत दीजिए। हर परिवार को छह महीने के लिए 7,500 रू़ प्रतिमाह सीधे कैश भुगतान करें और उसमें से 10,000 रुपए फौरन दें। मज़दूरों को सुरक्षित और मुफ्त यात्रा का इंतजाम कर घर पहुंचाने के साथ उनके लिए रोजी रोटी और राशन का इंतजाम करने की जिम्मेदारी सरकार की है।
महात्मा गांधी मनरेगा में 200 दिन का काम सुनिश्चित करें, जिससें गांव में ही रोजगार मिल सके। छोटे और लघु उद्योगों को लोन देने की बजाय आर्थिक मदद दीजिये, ताकि करोड़ों नौकरियां भी बचें और देश की तरक्की भी हो।
इसी कड़ी में देशभर से कांग्रेस समर्थक, कांग्रेस नेता, कार्यकर्ता, पदाधिकारी सोशल मीडिया के माध्यम से एक बार फिर सरकार के सामने यह मांगें दोहरा रहे है। संकट की इस घड़ी में हम सब हर देशवासी के साथ हैं और मिलकर इन मुश्किल हालातों पर अवश्य जीत हासिल करेंगे।