शुक्रवार को सड़क हादसे में छर्रा, अलीगढ़ के सात लोगों की मौत हुई थीनेपाल से आ रही बस और कार में टक्कर से पांच लोग जिन्दा जल गए थेइंजीनियर की तहरीर पर रिपोर्ट दर्ज की गई, जिला प्रशासन जागा परंतु देर से
पीलीभीत। बीते दिनों सड़क हादसे में अलीगढ़ के सात लोगों की मृत्यु हो जाने के बाद पीलीभीत प्रशासन नींद से जाग गया है। प्रशासन ने रोड के ठेकेदार के खिलाफ गैर इरादतन हत्या का मुकदमा दर्ज कराया है। यह मुकदमा रोड के साइड इंजीनियर की तहरीर पर पीलीभीत के जहानाबाद थाने में दर्ज किया गया है।
क्या है पूरा मामला शुक्रवार को छर्रा, अलीगढ़ के निवासी एक ही परिवार के सात लोगों की सड़क हादसे में मौत हो गई थी। यह सड़क हादसा पीलीभीत के जहानाबाद थाने के अंतर्गत आने वाली ललौलीखेड़ा चौकी के समीप हुआ था। इस बड़े हादसे के बाद प्रशासन के आला अफसरों ने मौके का जायजा लिया था। इसके बाद प्रशासन ने यह मान लिया है कि कहीं ना कहीं हादसे की वजह रोड किनारे लगा मिट्टी का ढेर भी था। इसके बाद प्रशासन ने साइट इंजीनियर पारस त्यागी की तरफ से दी तहरीर में यह मान लिया है कि ठेकेदार की गलती से दो बड़ी घटनाएं हुई थी। जिसमें पहली घटना में पांच लोग कार में जिंदा जल गए थे, वहीं दूसरी घटना में एक ही परिवार के 7 लोगों की मृत्यु हो गई थी। पूरी घटना के बाद पीलीभीत जिला प्रशासन ने सख्त कदम उठाते हुए एनएचएआई (National Highway Authority of India) के तहत निर्माण करने वाली वीआईएल कंपनी व उसके ठेकेदार नौशाद अहमद के खिलाफ गैर इरादतन हत्या का मुकदमा दर्ज कराया है।
पहले जागता प्रशासन तो शायद बच जाती सात जिंदगी जैसा की साइड के इंजीनियर पारस त्यागी ने दी तहरीर में बताया है कि 30 मार्च 2019 को नेपाल से आ रही बस व कार में टक्कर से कार में बैठे 5 लोग जिंदा जल गए थे, अगर प्रशासन इस घटना के बाद ही संज्ञान लेकर कोई कार्रवाई कर देता तो शायद बीते शुक्रवार को हुई बड़ी दुर्घटना ना होती और एक ही परिवार के 7 लोगों की जिंदगियां भी ना जाती। पीलीभीत जिला प्रशासन जागा लेकिन बहुत देर से।
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