सबसे अच्छा उदाहरण पोलियो नामक बीमारी है, जिसके उन्मूलन के लिए भारत सरकार ने पल्स पोलियो अभियान चलाया। सरकार ने मीडिया एवं अन्य प्रचार माध्यमों से लोगों को जागरूक कर भारत को पोलियो की सूची से बाहर कर लिया। आज भी मीडिया से हमारे देश के किसानों को भी बहुत लाभ मिल रहा है, क्योंकि टेलीविजन पर अनेक ऐसे कार्यक्रम प्रसारित किए जाते है , जिसमें किसानों को खेती करने की नई एवं वैज्ञानिक विधियों से अवगत कराया जाता है। इस तरह मीडिया का हमारे आज के समाज में बहुत ही बड़ा योगदान है। आज मीडिया हमारे दैनिक जीवन का एक अभिन्न अंग बन गया है। मीडिया की वजह से समाज कीमानसिकता में सकारात्मक परिवर्तन आ सकता है।
-दिनेश पारीक, बीकानेर
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मीडिया किसी भी राष्ट्र की आंख, कान व मुंह होता है। इसके माध्यम से देश देखता, सुनता व समझता है। मीडिया की भूमिका यथार्थ सूचना प्रदायक एजेंसी के रूप में होनी चाहिए। सूचनाओं को तोड़-मरोड़ या दूषित कर प्रस्तुत करने का प्रयास नही किया जाना चाहिए। सूचनाओं को यथावत एवं विशुद्ध रूप में जनता के समक्ष पेश करना चाहिए। मीडिया समाज मे शांति, सौहार्द, समरसता और सौजन्य की भावना विकसित कर सकता है।
-अशोक कुमार शर्मा, झोटवाड़ा, जयपुर
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मीडिया स्वस्थ समाज के निर्माण में अपनी भागीदारी निभा सकता है। बशर्ते वह निडर और बिना किसी भेदभाव के कार्य करे । इसके अलावा जो भी समाचार प्रकाशित हों, उसमे किसी भी जाति और समाज का नाम नहीं लेते हुए घटनाओं का विवरण हो,। आज घटनाओं को जाति और धर्म से जोड़ दिया जाता है। ये देश के लिए घातक होगा। इसलिए मीडिया अपनी जिम्मेदारी समझते हुए कार्य करे, तो निस्संदेह स्वस्थ समाज का निर्माण किया जा सकता हैं ।
-सुनील कुमार पाटनी, बगरू, जयपुर
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स्वस्थ समाज के निर्माण में मीडिया की भूमिका बहुत महत्वपूर्ण है। मीडिया भेदभाव किए बिना लोगों को सही सूचना दे और दबाव में नहीं आए तो समाज को सही दिशा में ले जा सकता है। आज मीडिया की विश्वसनीयता प्रभावित हो रही है। झूठी व अश्लील सामग्री परेासी जा रही है। मीडिया समाज में वैमनस्यता फैलाने वाली खबरों का प्रसारण न करके समाज निर्माण में सहयोग कर सकता है।
-कैलाश टांक, जयपुर
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जिस प्रकार मानव जीवन की महती आवश्यकता रोटी, कपड़ा और मकान है, उसी प्रकार न्याय, शिक्षा और समानता स्वस्थ समाज के आधार स्तंभ हैं। मीडिया इन तीनों स्तंभों का पूरक है। लोकतंत्र का चौथा आधार स्तंभ मीडिया को माना जाता है, बशर्ते वह निष्पक्ष, निर्भीक और निडर हो।
-हुकम सिंह राजपुरोहित, जैसलमेर
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स्वस्थ समाज के निर्माण के लिए मीडिया को राजनीति, पार्टीवाद से ऊपर उठकर राष्ट्र और समाज से जुड़े मुद्दों को निष्पक्ष तरीके से लोगों के सामने प्रस्तुत करना चाहिए, ताकि लोकतंत्र के चौथे स्तंभ की सार्थकता साकार हो सके। मीडिया ट्रॉयल और एक पक्षीय मीडिया के कारण न केवल व्यक्ति अपनी छवि खोता है, बल्कि जो अपराधी नहीं हं,ै उसे भी अपराधी मान लिया जाता है। इसलिए मीडिया को किसी भी खबर की विश्वसनीयता की जांच कर सही तथ्य प्रस्तुत करने चाहिए।
-सुनील कुमार पीपलीवाल, जयपुर
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स्वस्थ समाज के निर्माण में मीडिया की भूमिका मील का पत्थर साबित होगी, लेकिन इसके लिए मीडिया को ईमानदार बनना होगा। ऐसे विज्ञापन प्रस्तुत करने होंगे, जिससे किसी वस्तु का प्रचार तो हो ही, लेकिन समाज की मान-मर्यादा भंग ना हो। साथ ही समाज को बेहतरीन व ज्ञानवर्धक संदेश भी प्राप्त हो। धार्मिक सीरियल अथवा सिनेमा निर्माण करने में पूरा ख्याल रखना होगा कि धर्म की अवमानना ना हो।
-निभा झा, जामनगर, गुजरात
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मीडिया को नकारात्मक व संवेदनशील सूचनाएं संयमित तरीके से पेश करनी चाहिए। मीडिया समाज का मार्गदर्शन करने वाला हो। वह लोकतंत्र के चौथे स्तम्भ के रूप में अन्य तीनों स्तम्भों की निगरानी कर समाज को जागरूक करता है।
-बबीता, बासनी, लक्ष्मणगढ़
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मीडिया अपनी खबरों के माध्यम से समाज में सन्तुलन बनाए रखने में महत्त्वपूर्ण भूमिका अदा करता है। मीडिया समाज में शांति, समरसता और सौहार्द का वातावरण निर्मित कर सकता है। मीडिया समाज में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है।
-के. पी. मधुकर, कांकेर, छत्तीसगढ़
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वर्तमान दौर में सोशल मीडिया नई पीढ़ी के जीवन का अहम हिस्सा है। यह ऐसा विशाल नेटवर्क है, जो दुनिया को आपस में जोड़े रखता है। सामाजिक मुद्दों से जुडऩे का सोशल मीडिया एक बेहतरीन माध्यम है। सोशल मीडिया का सही उपयोग किसी वरदान से कम नहीं, लेकिन इसका असंयमित प्रयोग हमारे अंदर कई तरह की मानसिक समस्याओं को जन्म दे सकता है। इसका नकारात्मक प्रभाव व्यक्ति की मानसिक स्थिति को गहराई तक प्रभावित करता है। यह कई घटनाओं से साबित होता है। दुनिया में सोशल मीडिया के माध्यम से गलत सूचनाओं का प्रसार कुछ प्रमुख उभरते जोखिमों में से एक है। सोशल मीडिया के जरिए हमें अच्छा बोलने, अच्छा देखने, अच्छा सुनने पर फोकस करना होगा, जिससे समाज में सकारात्मक ऊर्जा का संचार बढ़े। इसकी शक्ति व क्षमता का सकारात्मक उपयोग युवाओं का मानसिक स्वास्थ्य ठीक रखेगा और देश की तरक्की में उनका सही उपयोग हो सकेगा।
-डॉ. अजिता शर्मा, उदयपुर
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प्रिंट मीडिया का हमारी आजादी की लड़ाई में बहुत बड़ा योगदान रहा है। आज का मीडिया सरकार और जनता के बीच बहुत बड़ी कड़ी का कार्य कर रहा है। साथ ही समाज को जागरूक करने का कार्य कर रहा है। इस प्रकार हम क्या कह सकते हैं कि स्वस्थ समाज के निर्माण में मीडिया की बहुत अहम भूमिका है।
-सन्नी ताम्रकार, दुर्ग, छत्तीसगढ़
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मीडिया को निष्पक्षता के साथ अपनी भूमिका निभानी चाहिए। व्यावसायिक हितों से बढ़कर अपने दायित्वों के प्रति सजगता बरतनी चाहिए। तथ्यात्मक रिपोर्टिंग करनी चाहिए, पर ध्येय यह रहे कि समाज में परस्पर अविश्वास और असहिष्णुता न पनपे। किसी भी स्थिति में नफरत न फैलाएं, जो इन दिनों इलेक्ट्रॉनिक मीडिया का मानो लक्ष्य ही बना हुआ है। मीडिया को सत्ता के समक्ष झुकने की बजाय संविधान सम्मत दिशा निर्देशों के प्रकाश में अपना काम करना चाहिए।
-हरीश करमचंदाणी, जयपुर।
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जरूरी है विश्वसनीयता
मीडिया को देश का चौथा स्तम्भ माना गया है। स्वस्थ समाज के निर्माण में मीडिया से बहुत आशाएं हंै। मीडिया पारदर्शिता और निष्पक्षता को अपनाए। साथ ही बिना किसी दबाव के सच जनता तक पहुंचाए। मीडिया को अपनी विश्वसनीयता बनाए रखना बहुत आवश्यक है। यह एक प्रमुख माध्यम है सरकार की नीतियों को जनता तक पहुंचने का।
-नटेश्वर कमलेश, चांदामेटा ,छिन्दवाड़ा
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आज मीडिया शुद्ध व्यवसाय है। यह स्थिति दुर्भाग्यपूर्ण है। देश को ऐसा पूर्वाग्रही मीडिया रसातल में ही ले जा रहा है। आशा की किरण लुप्त प्राय है। देशवासियों को स्वयं विवेकशील होने की आवश्यकता है।
-पवन कुमार दाधीच, फतेहपुर शेखावाटी
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मीडिया आज भी जानकारी और जागरूकता का सर्वाधिक सशक्त माध्यम है । लोगों की आस्था का केन्द्र बिन्दु है। लोग स्वतंत्र और निष्पक्ष मीडिया पर विश्वास करते हैं। जनमत का निर्माण करने में मीडिया की महत्त्वपूर्ण भूमिका है।
– डॉ. हर्ष वद्र्धन, पटना, बिहार
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स्वस्थ समाज के निर्माण में मीडिया की बहुत बड़ी भूमिका है, लेकिन आज के न्यूज चैनल बहस के नाम पर समाज को विभाजित करते हैं। इससे टीवी देखने की इच्छा नहीं होती। मीडिया को सरकार तक जनता की समस्याएं पहुंचाने का काम करना चाहिए।
-रामलाल, सतना
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स्वस्थ समाज के निर्माण में मीडिया की भूमिका बहुत ही कारगर साबित हो सकती है। मीडिया एकमात्र ऐसा माध्यम है, जो कि आम लोगों को स्वास्थ्य के प्रति जागरूक कर उनके व्यवहार में व्यापक स्तर पर सकारात्मक परिवर्तन ला सकता है। इसका कारण यह भी है कि मीडिया की पहुंच हर जगह हो गई है।
-लोकेश खटाना, करौली