सप्तमी का आरंभः 9 अक्टूबर 2024 को दोपहर 12:16 बजे से
सप्तमी का समापनः 10 अक्टूबर 2024 गुरुवार को दोपहर 12:33 बजे तक (उदया तिथि में सप्तमी 10 अक्टूबर को)
इन पत्तों की होती है पूजा
नवपत्रिका पूजा में हर एक पेड़ के पत्ते को देवी के अलग-अलग रूप में पूजा जाता है। ये नौ पत्ते केला, कच्वी, हल्दी, अनार, अशोक, मनका, धान, बिल्वा और जौ हैं।नवपत्रिका पूजा विधि
- महासप्तमी की पूजा महास्नान के बाद शुरू होती है, इसे कलाबाऊ स्नान कहते हैं। मान्यता है कि महासप्तमी पर महास्नान करने से देवी दुर्गा की असीम कृपा होती है।
- नवपत्रिका पूजन में नौ पत्ती को एक साथ बांधकर स्नान कराया जाता है।
- महास्नान के बाद नवपत्रिका को बंगाल की पारंपरिक सफेद साड़ी जिसमें लाल बॉर्डर होती है, इस पर रखकर सजाया जाता है। खुद भी यही साड़ी पहनते हैं।
- महास्नान के बाद प्राण प्रतिष्ठा की जाती है। इसमें मां दुर्गा की प्रतिमा को पूजा स्थल पर रखा जाता है।
- प्राण प्रतिष्ठा के बाद षोडशोपचार पूजा की जाती है। इसमें जल, फल, फूल, चंदन आदि चढ़ाकर मां दुर्गा का पूजन किया जाता है। अंत में मां दुर्गा की महाआरती होती है और प्रसाद का वितरण किया जाता है।