एनडीआरएफ की टीम जुटीं राहत और बचाव में
गाजियाबाद. डासना इलाके के आकाश नगर (मिसलगढ़ी) में गिरी 5 मंजिला निर्माणाधीन इमारत के मामले में फिलहाल एनडीआरएफ की 4 टीमों के अलावा दमकल विभाग और कई सामाजिक संगठन और स्थानीय लोग भी मलबे में दबे लोगों को निकालने का प्रयास कर रहे हैं। इस खोजी अभियान में 6 Dog भी शामिल हैं। हालांकि, अभी तक की कड़ी मशक्कत के बाद एनडीआरएफ की टीम ने एक शव बरामद कर लिया है। इसके अलावा कुल 6 लोगों को भी सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया है। हालांकि, सभी लोग गंभीर रूप से घायल हैं। इनमें तीन लोगों की स्थिति अभी नाजुक बनी हुई है। सभी घायलों को इलाज के लिए गाजियाबाद के सेक्टर 23 स्थित जिला अस्पताल में भर्ती कराया जा रहा है।
पुलिस ने नहीं दर्ज की FIR, रातभर थाने के बाहर भटकते रहे रेप पीड़ित के परिजन
बागपत. महिला सुरक्षा और क्राइम कंट्रोल के नाम पर सत्ता में आई योगी सरकार के सत्ता में आने के बाद प्रदेश में कानून व्यवस्था बद से बदतर होती जा रही है। हालात ये है कि घर से लेकर स्कूल, कॉलेज और बाजार या सड़क कहीं भी महिलाएं और बच्चियां महफूज नहीं है। कोई दिन ऐसा नहीं जाता है कि जब कहीं से किसी महिला के साथ बलात्कार या सामूहिक बलात्कार की खबरें नहीं आती हो। ऐसा लगता है कि मानो अपराधियों के मन से पुलिस-प्रशासन या फिर कानून का खौफ बिल्कुल ही खत्म हो चुका है। ताजा माला बागपत जिले का है। यहां एक युवती के साथ अपहरण कर चलती गाड़ी में गैंगरेप की वारदात को अंजाम दिया गया। जब इन वहशियों का मनभर गया तो इन दरिंदों ने वारदात के बाद देर रात युवती को बदहवास हालत में कलक्ट्रेट के बाहर हाई-वे किनारे फेंक गए। सड़क किनारे बदहवास हालत में पड़ी पीड़िता को राहगीरों ने जिला अस्पताल में भर्ती कराया।
जांच रिपोर्ट तैयार कभी भी हो सकती है आरोपी अफसरों के खिलाफ कार्रवाई
बागपत. जिला जेल में माफिया डॉन मुन्ना बजरंगी की हत्या के मामले में जेल अधिकारियों की भूमिका की जांच पूरी हो गई है। सूत्रों के मुताबिक इस जांच में रिपोर्ट में वहां के जेलर समेत चार लोगों को मुन्ना बजरंगी की हत्या के मामले में दोषी पाया गया है। इसके अलावा एक नम्बरदार को भी इसमें साठगांठ का आरोपी माना गया है। गौरतलब है कि आगरा के डीआईजी जेल संजीव त्रिपाठी ने इस सम्बन्ध में अपनी जांच रिपोर्ट मुख्यालय को भेज दी है। सूत्र बताते हैं कि आगरा के डीआईजी जेल और इस मामले में जांच अधिकारी संजीव त्रिपाठी ने इन आरोपियों में दो जेल अफसरों के खिलाफ बर्खास्तगी की सिफारिश की है। गौरतलब है कि इस मामले में जेलर उदय प्रताप सिंह, डिप्टी जेलर शिवाजी यादव, हेड वार्डन अरजिन्दर सिंह, वार्डन माधव कुमार को पहले ही निलंबित कर दिया गया था।