बता दें, हाल ही में बिहार के कॉलेजों को वाईफाई से जोड़ा गया है और अब उच्चतर विद्यालयों यानी हायर सेकेंडरी स्कूलों को भी वाईफाई से जोड़ा जाएगा दूसरे शब्दों में कहें तो, बिहार के लाखों छात्र अब मोबाइल पर भी पढ़ाई कर सकेंगे। शिक्षा विभाग ने इसके लिए खाका तैयार कर लिया है। बताया जा रहा है की शिक्षकों को शिक्षा में डिजिटल टेक्नोलाजी के इस्तेमाल के संबंध में प्रशिक्षण भी किया जाएगा।
शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव संजय कुमार ने बताया कि प्रदेश की शिक्षा व्यवस्था में डिजिटल टेक्नोलाजी का इस्तेमाल बढऩे जा रहा है। इसी साल से सभी 9,360 माध्यमिक तथा उच्च माध्यमिक विद्यालयों में इंटरनेट और वाई-फाई की निशुल्क सुविधा उपलब्ध होगी। तो वहीं विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक, स्कूलों को वाईफाई मुहैया कराने वाली एजेंसी के लिए आरएफसी यानी टेंडर निकाला जाएगा।
इसके अलावा आपको बता दें, सरकार ने सभी छात्र-छात्राओं को फिलो डिजिटल प्लेटफार्म निशुल्क उपलब्ध कराया है। एप पर सवाल पूछते ही 60 सेकेंड के अंदर छात्रों से ट्यूटर जुड़ेंगे और सवाल को हल करने के तरीके बताएंगे। साथ ही, क्लासरूम के दायरे से बाहर जाकर छात्र-छात्राओं को फिलो डिजिटल प्लेटफार्म प्रदान करने वाला बिहार देश का पहला राज्य बन गया है। इस एप के जरिए छात्र-छात्राएं बिहार बोर्ड की परीक्षा, जेईई-मेंस, नीट जैसे परीक्षाओं की तैयार कर पाएंगे।