इस साल की शुरुआत में चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी नेवी (PLAN) ने छोटी पनडुब्बियों को विकसित और शामिल किया है। बताया जा रहा था कि यह रक्षा के बहाने चुपके से अंदर घुस सकती हैं। एएसडब्ल्यूएसडब्ल्यूसी ऐसे खतरों से निपटने में बहुत सक्षम होंगे। वे अपने दम पर या विमान के साथ मिलकर काम कर सकते हैं। ये जहाज बारूदी सुरंगों का पता लगाने और जरूरी कदम उठाने में भी सक्षम होंगे।
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नौसेना के एक अन्य वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक भारतीय जलक्षेत्र के करीब चीनी पनडुब्बियों की आवाजाही को देखते हुए ये जहाज बेहद अहम भूमिका निभाएंगे। इनसे समुद्र में आगे काम करने वाली पनडुब्बियों का पता लगाया जा सकता है। अरह कॉर्वेट्स और लंबी दूरी की निगरानी वाले विमानों द्वारा निपटा जा सकता है। ये जहाज बारूदी सुरंगों का पता लगाने और आवश्यक उपाय करने में भी सक्षम होंगे।
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— यह पोत 77.6 मीटर लंबा और 10.5 मीटर चौड़ा है। इसके एक पंच पैक से भारत के तट के करीब दुबकर बैठी हुईं दुश्मन की पनडुब्बियों को शिकार करने और बेअसर करने में सक्षम होगा।
— भारतीय नौसेना को सौंपे जाने से पहले जहाज को डेक इक्विपमेंट, सेंसर और वेपन्स सिस्टम्स से सुसज्जित किया जाएगा।
— इसमें अंडर वॉटर खतरों से निपटने के लिए सेंसर और हथियार प्रणालियों के अलावा जहाजों में अपनी सुरक्षा के लिए डेक बंदूकें होंगी।
— भारतीय जलक्षेत्र के करीब चीनी पनडुब्बियों की आवाजाही को देखते हुए ये जहाज बेहद अहम भूमिका निभाएंगे।
— इस पोत के जरिये समुद्र में आगे काम करने वाली पनडुब्बियों का पता लगाया जा सकता है। ASW कॉर्वेट्स और लंबी दूरी की निगरानी वाले विमानों द्वारा खतरों से निपटा जा सकता है।