मणिपुर पुलिस ने बताया है कि आतंकी सुनसान इलाके में रह रहे एक व्यक्ति को गोली मार दी। वह उस समय अपने घर में सो रहा था। इसकी जानकारी जैसे ही आसपास के लोगों को हुई। फिर दोनों तरफ से गैंगवार सरीखी गोलीबारी होना शुरू हो गई। हत्या के बाद पहाड़ियों में दो समुदायों के हथियारबंद लोगों के बीच भारी गोलीबारी हुई। इसमें तीन आतंकियों सहित कुल चार लोग मारे गए।
मणिपुर पुलिस ने बताया है कि दरअसल हिंसा के दौरान मैतेई समुदाय के एक बुजुर्ग की हत्या कर दी गई। इस के जवाब में जिरीबाम जिले में चार कुकी उग्रवादियों को मार दिया गया है। मणिपुर में हिंसा का ताजा दौर दक्षिणी असम से सटे जिरीबाम जिले के सेरो, मोलजोल, रशीदपुर और नुंगचप्पी गांवों से शुरू हुआ है। शनिवार सुबह 10 बजे तक रुक-रुक कर गोलीबारी होती रही। फायरिंग के कारण वहां हालात तनावपूर्ण बने हुए हैं। मणिपुर के जिरीबाम जिले में भड़की हिंसा को रोकने के लिए असम राइफल्स, केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल और मणिपुर पुलिस के कमांडो की टीम को तैनात किया गया है।
संदिग्ध कुकी उग्रवादियों ने बीते मंगलवार को जिरीबाम जिले के अलग-अलग इलाकों में हमला करना शुरू किया था। इस दौरान मैतेई समुदाय के एक बुजुर्ग की हत्या कर दी गई। पता चला है कि मृतक घटना के दौरान सो रहा था। बुजुर्ग की हत्या के बाद चार कुकी उग्रवादियों को मार दिया गया है। हालांकि, पुलिस की ओर से यह स्पष्ट नहीं है कि जवाबी हमला किसकी ओर से किया गया है।
मणिपुर सरकार ने बंद किया स्कूल
कुकी आदिवासी नेताओं ने दावा किया कि मारे गए लोग उग्रवादी नहीं थे बल्कि वे ग्राम स्वयंसेवक थे। मणिपुर सरकार ने शनिवार को राज्य के सभी शैक्षणिक संस्थानों को बंद करने का आदेश दिया। साथ ही तनावपूर्ण हालात को देखते हुए सुरक्षा बलों को हाई अलर्ट पर रहने और उग्रवाद रोधी अभियानों को तेज करने का आदेश दिया है। इससे पहले मणिपुर के पूर्व मुख्यमंत्री मैरेम्बम कोइरेंग के विष्णुपुर जिले में स्थित आवास पर बम से हमला किया गया था। इस बम विस्फोट में एक बुजुर्ग व्यक्ति की मौत हो गई थी और छह अन्य घायल हो गए थे।