प्रदर्शन कर रहे छात्रों के बीच पहुंचे थे प्रशांत किशोर
राजधानी पटना के गांधी मैदान में स्थिति बापू की प्रतिमा के सामने रविवार को बीपीएससी की 70 वीं प्रारंभिक परीक्षा को रद्द करने की मांग को लेकर बड़ी संख्या में अभ्यर्थियों ने जमकर प्रदेर्शन किया था। इसके अगले बीते शनिवार को गांधी मैदान में ही प्रशांत किशोर ने छात्र संसद लगाने का आह्वान किया। प्रशांत किशोर के नेतृत्व में अभ्यर्थियों का हुजूम मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मिलने की मांग को लेकर गांधी मैदान से निकल गए। छात्रों को आगे बढ़ने से पहले जेपी गोलंबर के पास रोक दिया। इस दौरान जिला प्रशासन ने छात्रों से बातचीत की पेशकश की थी, पर छात्रों ने इसको ठुकरा दिया था। प्रदर्शनकारियों पर लगा ये गंभीर आरोप
अधिकारियों को कहना है कि बिना अनुमति के जुलूस निकाल कर प्रदर्शनकारियों ने जेपी गोलंबर तक सड़क जाम कर दिया था। उस दौरान वहां पर तैनात दंडाधिकारियों एवं पुलिस पदाधिकारियों के साथ धक्का–मुक्की भी की गई। लोगों की भीड़ ने प्रशासन द्वारा लगाए गए लाउड स्पीकर को भी तोड़ दिया। प्रशासन द्वारा बार–बार अपील करने के बाद भी इन लोगों ने दिशा–निदेशों का उल्लंघन करते हुए लोक व्यवस्था भंग कर दिया।
पुलिस ने भीड़ पर किया वाटर कैनन और हल्का बल का प्रयोग
प्रशांत किशोर पर आरोप भीड़ बेकाबू हो गई तो जेपी गोलंबर के पास भीड़ को छोड़कर वहां से निकल गए। प्रशासन ने उन लोगों से मुख्य सचिव को ज्ञापन देने के लिए पांच लोगों का डेलीगेशन भेजने की बात की, लेकिन आपसी सहमति नहीं बनी। इन लोगों नाम भी नहीं भेजे। इसके साथ ही छात्र प्रदर्शन के लिए अड़े रहे। इसके बाद उन पर वाटर कैनन का इस्तेमाल करना पड़ा। इसके अलावा पुलिस ने हल्का बल प्रयोग करते हुए भीड़ को वहां से हटाया।
21 नामजद और 600 से 700 अज्ञात लोगों के खिलाफ एफआईआर
अब अधिकारी ने कार्रवाई करते हुए बताया कि अनधिकृत रूप से भीड़ को इकट्ठा करने, लोगों को उकसाने तथा विधि–व्यवस्था की समस्या उत्पन्न करने के आरोप में 21 नामजद एवं 600 से 700 अज्ञात लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली गई है। वहीं, विपक्ष भी इस मामले को लेकर सीएम नीतीश कुमार के खिलाफ मौर्चा खोल रखा है। छात्रों के साथ विपक्ष दल भी इस पूरी परीक्षा को रद्द कर फिर से कराए जाने की मांग कर रहे है।