हनुमान बेनीवाल ने की ये अपील
बता दें, नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल ने खींवसर विधानसभा में प्रचार के दौरान कहा है कि ‘इस चुनाव में BJP को कोई फर्क नहीं पड़ेगा। लेकिन, RLP को बहुत फर्क पड़ेगा।’ बेनीवाल ने कहा कि ‘अगर RLP विधानसभा में नहीं रही तो मेरा 20 साल का संघर्ष चला जायेगा।’ आगे उन्होंने कहा कि आपको इस बात का ध्यान ऱखना है कि अगले चार साल राजस्थान की सड़कों पर संघर्ष करता रहूं। हनुमान बेनीवाल ने आगे कहा कि पेपर लीक के आरोपी, बजरी माफियाओं, मिड डे मिल के आरोपियों के खिलाफ लड़ता रहूं, इसलिए आरएलपी के लिए ये सीट जीतना जरूरी है। बताते चलें कि खींवसर उपचुनाव में त्रिकोणीय मुकाबले में फंसे बेनीवाल के लिए अपने सियासी वर्चस्व को बचाए रखने की चुनौती है। चुनावी मैदान में अकेले उतरे हनुमान बेनीवाल को अपनी पत्नी कनिका बेनीवाल को जिताने के लिए कड़ी मशक्कत करनी पड़ रही है। खींवसर क्षेत्र के मतदाताओं को रिझाने के लिए एड़ी-चोटी की जोर लगा रहे हैं। बेनीवाल के इस बयान से साफ है कि उपचुनाव बेनीवाल के लिए कितना अहम है।
दिव्या मदेरणा ने साधा निशाना
इधर, दिव्या मदेरणा ने लोहावट में एक कार्यक्रम के दौरान बिना नाम लिए हनुमान बेनीवाल पर बड़ा तंज कसते हुए खींवसर की जनता को बड़ा मैसेज भी दे दिया है। मदेरणा ने कहा कि मुझे हराने की बात करते थे। सवाल पूछते हुए दिव्या मदेरणा ने कहा कि ‘क्या मैं समाज की बेटी नहीं हूं, क्या गुनाह था मेरा, क्या गलती थी मेरी? मदेरणा ने कहा कि आज क्या हालत हैं खींवसर में? सुनने में आ रहा है कि हालत टाइट है। उन्होंने कहा कि रात के 4- 4 बजे घूमकर लोगों के पैर पकड़ रहे हैं।
खींवसर में त्रिकोणीय मुकाबला
बताते चलें कि लोकसभा चुनाव में कांग्रेस के साथ गठबंधन करने वाली हनुमान बेनीवाल की राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी अकेले चुनाव लड़ रही है। हनुमान बेनीवाल के सांसद बनने से खाली हुई खींवसर सीट से उनकी पत्नी कनिका बेनीवाल को उपचुनाव में पार्टी ने टिकट दिया है। वहीं कांग्रेस से इस सीट पर पूर्व आईपीएस सवाई सिंह चौधरी की पत्नी रतन चौधरी मैदान में हैं। इसके अलावा भाजपा के टिकट पर रेवंत राम डांगा खींवसर से चुनाव लड़ रहे हैं।
इन सीटों पर होंगे उपचुनाव
गौरतलब है कि 13 नवंबर को राजस्थान की 7 सीटों पर उपचुनाव होने जा रहा है। प्रदेश की रामगढ़ (अलवर), दौसा, झुंझुनूं और देवली-उनियारा, खींवसर, चौरासी और सलूंबर सीटों पर उपचुनाव होने जा रहा है। 2023 के विधानसभा चुनाव के परिणामों में इनमें से भाजपा के पास केवल 1 सीट थी, वहीं कांग्रेस के पास 4 सीटें थी। इसके अलावा एक सीट बाप और एक सीट RLP के पास थी।